क्या दर्शकों की पसंद बदल रही है? युवा क्यों चाहते हैं नया और अनोखा कंटेंट: अंजुम फकीह

सारांश
Key Takeaways
- दर्शकों की पसंद में बदलाव
- युवाओं की नई मांग
- शहरी और ग्रामीण जीवन का मिश्रण
- नवीनता और रचनात्मकता की आवश्यकता
- शो की सफलता दर्शकों पर निर्भर
मुंबई, 20 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। अभिनेत्री अंजुम फकीह ने अपने नए रियलिटी शो 'छोरियां चलीं गांव' के साथ एक नई यात्रा की शुरुआत की है। उनका मानना है कि कंटेंट के मामले में दर्शकों की पसंद समय के साथ बदलती रहती है। युवा पीढ़ी हमेशा नए और अनोखे कंटेंट की तलाश में रहती है।
समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बातचीत में उन्होंने आज के युवाओं की कंटेंट के प्रति पसंद और नापसंद पर अपने विचार साझा किए।
अंजुम ने कहा कि दर्शकों की पसंद हर कुछ वर्षों में बदलती है। आज का युवा अधिक मुखर है; वह ताजा, अनोखी कहानियों की मांग करता है। उन्होंने कहा, "भारत में प्रतिभा और रचनात्मकता की कोई कमी नहीं है। 'छोरियां चलीं गांव' के कॉन्सेप्ट को बनाने वाले को सलाम। हम दर्शकों के लिए कुछ नया और जड़ों से जुड़ा लेकर आए हैं। यह शो शहरों की चमक-दमक से दूर, गांव की असली जिंदगी को दिखाता है, जहां भारत का दिल बसता है। यह शो शहर और गांव दोनों के दर्शकों को पसंद आएगा। इसकी सफलता दर्शकों के हाथ में है। अगर उन्हें पसंद आया, तो यह सालों चलेगा, वरना खत्म हो जाएगा।"
'छोरियां चली गांव' को लेकर उत्साहित अंजुम ने बताया कि एक शहरी लड़की होने के नाते गांव की जिंदगी का अनुभव लेने का मौका उन्हें रोमांचित करता है। उन्होंने कहा, "मैं हमेशा जी टीवी के साथ काम करना चाहती हूं। मेरे सभी हिट किरदार और शो 'एक था राजा एक थी रानी', 'कुंडली भाग्य', 'रानी रागेश्वरी', और 'सृष्टि' जी टीवी के ही थे। जब भी जी के साथ काम करने का मौका मिलता है, मैं उस ऑफर को तुरंत स्वीकार कर लेती हूं।"
अंजुम ने शो को रोमांचक बताया। उन्होंने कहा, "ऐसा कॉन्सेप्ट मुझे पहले कभी नहीं दिखा, न भारत में, न विदेश में। दर्शकों को यह देखना अच्छा लगेगा कि शहरी लड़कियां गांव की जिंदगी में कैसे ढलती हैं। मैं खुद उत्साहित और थोड़ी नर्वस हूं। मैं गांव में पैदा हुई थी, लेकिन 15 साल से वहां नहीं गई। अब एक नए गांव में जाना मेरे लिए नया अनुभव है और मुझे नहीं पता कि क्या होगा। यही इसकी खासियत है।"