क्या ट्यूलिप सिद्दीक के खिलाफ मुकदमा सियासत से प्रेरित है? - शेख हसीना
सारांश
Key Takeaways
- मुकदमा राजनीति से प्रेरित माना गया है।
- शेख हसीना ने न्यायपालिका की निष्पक्षता पर सवाल उठाए हैं।
- यूके के साथ बांग्लादेश के कूटनीतिक रिश्तों पर असर पड़ सकता है।
- ट्यूलिप सिद्दीक को अन्याय का शिकार बताया गया है।
- इस मामले में अंतरराष्ट्रीय चिंता भी व्यक्त की गई है।
नई दिल्ली, 9 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। शेख हसीना ने कहा है कि यूके सांसद और उनकी बहन की बेटी ट्यूलिप सिद्दीक के खिलाफ चलाया गया मुकदमा केवल राजनीति का खेल है। बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री के अनुसार, यह न्यायपालिका की निष्पक्षता को सवालों के घेरे में लाता है।
हसीना ने आरोप लगाया कि यह निर्णय बांग्लादेश पर शासन कर रही अंतरिम सरकार के प्रमुख सलाहकार मोहम्मद यूनुस और उनके चरमपंथी और मौकापरस्त गठबंधन के राजनीतिक एजेंडे को आगे बढ़ाता है।
राष्ट्र प्रेस से खास बातचीत में हसीना ने कहा, "किसी भी आरोपी की गैरमौजूदगी में मुकदमा चलाना और एक ब्रिटिश सांसद को दोषी ठहराना सही प्रक्रिया और निष्पक्षता पर गंभीर सवाल उठाता है। मेरे परिवार के सदस्यों ने हमेशा गलत काम करने से इनकार किया है। मेरा मानना है कि न्याय को किसी भी बंधन से मुक्त, पारदर्शी और अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार होना चाहिए। यूनुस इन मामलों का इस्तेमाल अपनी सरकार की कमियों से ध्यान भटकाने और एक ऐसे राजनीतिक दल को दबाने के लिए कर रहे हैं, जिसने आजादी के बाद नौ बार चुनावों में जीत हासिल की है।"
उन्होंने आगे कहा, "यह फैसला केवल यूनुस और उनके कट्टरपंथियों और मौकापरस्तों के राजनीतिक लाभों को पूरा करता है। यह निश्चित रूप से बांग्लादेश के लिए फायदेमंद नहीं है, खासकर क्योंकि इससे यूके के साथ हमारे कूटनीतिक संबंधों पर असर पड़ेगा, जो हमारे लिए एक महत्वपूर्ण व्यापार और विकास साथी है।"
हसीना ने कहा कि इस कार्रवाई से बांग्लादेश में विश्वास कम हुआ है और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी चिंता व्यक्त की जा रही है।
9 दिसंबर (मंगलवार) को, हसीना और कुछ पूर्व सैन्य अधिकारियों के खिलाफ बांग्लादेश की आईसीटी (इंटरनेशनल क्राइम्स ट्रिब्यूनल) में सुनवाई होनी है। इसी कोर्ट ने मानवता का दुश्मन मानते हुए हसीना को सजा-ए-मौत सुनाई है।
वहीं, 1 दिसंबर को, ढाका की एक कोर्ट ने हसीना को पूर्वांचल न्यू टाउन प्रोजेक्ट के तहत प्लॉट के बंटवारे में गड़बड़ियों के लिए पांच साल की जेल की सजा सुनाई थी।
इसके अलावा, हसीना की बहन, शेख रेहाना को सात साल जबकि रेहाना की बेटी ट्यूलिप सिद्दीक को दो साल की सजा सुनाई गई।
इस दौरान ये तीनों कोर्टरूम में मौजूद नहीं थीं।
ढाका कोर्ट के फैसले के बाद, ट्यूलिप ने यूनुस की आलोचना की और उन पर “घोर अन्याय” का आरोप लगाया।
ब्रिटिश सांसद ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक साक्षात्कार की वीडियो क्लिप साझा कर अपना पक्ष रखा था। इसमें वह कहती दिखीं, “डेढ़ साल से मेरे खिलाफ गलत इल्जाम लगाने के बावजूद, बांग्लादेशी अधिकारियों ने मुझसे अभी तक कोई संपर्क नहीं साधा। मैंने जिम्मेदार बनने की कोशिश की और यूके के वकीलों से भी बात की, जिन्होंने बांग्लादेशी अधिकारियों को बार-बार लिखा लेकिन उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया। फिर मैंने बांग्लादेश में ही एक वकील से बात की; उन्होंने (सत्ता पक्ष) उसे डराया-धमकाया, और वह पीछे हट गया।”
उन्होंने कहा कि यूनुस को "खुद पर शर्म आनी चाहिए" क्योंकि वह "अन्याय के साथ खड़े हैं, उसका नेतृत्व कर रहे हैं।"