क्या बहराइच नाव हादसे में और शव मिले?
सारांश
Key Takeaways
- नाव हादसे में अब तक दो शव बरामद हो चुके हैं।
- छह लोग अभी भी लापता हैं।
- मुख्यमंत्री ने पीड़ित परिवारों को चार लाख रुपये की राहत राशि दी है।
- एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें सर्च ऑपरेशन में जुटी हैं।
- सुरक्षा इंतजामों की समीक्षा की जाएगी।
बहराइच, 2 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। बहराइच जिले के सुजौली थाना क्षेत्र के कौड़ियाला नदी में हुए नाव हादसे के बाद रविवार को रेस्क्यू टीम ने दो अन्य शव बरामद किए। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की संयुक्त टीम ने नदी से एक महिला और एक पुरुष का शव प्राप्त किया। मृतकों की पहचान महिला सुमन और नाविक शिवनंदन के रूप में हुई है।
दोनों शव घटनास्थल से लगभग सात किलोमीटर दूर, लखीमपुर जिले के लालपुर और सुजानपुर इलाके में पाए गए। पुलिस ने शवों को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
बुधवार देर शाम भरथापुर घाट पर नाव पलटने से 22 लोग नदी में गिर गए थे। इनमें से 13 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया था, जबकि एक महिला का शव उसी रात बरामद हुआ था। पांच बच्चों समेत आठ लोग लापता थे, जिनमें से अब दो के शव बरामद हो चुके हैं। प्रशासन लगातार लापता लोगों की तलाश में जुटा हुआ है।
वहीं, 29 अक्टूबर की रात हुए इस दर्दनाक हादसे के बाद से आठ लोग लापता थे। हादसे के बाद से ही नदी में लगातार सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है। लापता आठ लोगों में से दो के शव बरामद हो चुके हैं, जबकि छह लोग अब भी लापता बताए जा रहे हैं। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय गोताखोरों की टीमें लगातार नदी में तलाशी अभियान चला रही हैं।
वहीं, रविवार दोपहर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बहराइच पहुंचे और नाव दुर्घटना में अपनों को खोने वाले पीड़ित परिवारों से मुलाकात की। उन्होंने शोक संतप्त परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की और प्रत्येक परिवार को चार-चार लाख रुपए की राहत राशि के चेक सौंपे।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि भरथापुर के प्रभावित परिवारों को एक माह के भीतर सुरक्षित स्थान पर विस्थापित किया जाए। इसके लिए 21 करोड़ 55 लाख रुपए की राशि स्वीकृत की गई है।
मुख्यमंत्री ने अफसरों को स्पष्ट निर्देश दिए कि सभी प्रभावित परिवारों को राहत राशि के साथ-साथ जमीन और आवास की सुविधा तत्काल उपलब्ध कराई जाए। उन्होंने कहा कि इस तरह की घटनाओं से बचाव के लिए स्थानीय स्तर पर सुरक्षा इंतजामों की समीक्षा भी की जाए।