क्या बिहार में शुगर मिलों जैसे मुद्दों का समाधान कर रहे हैं सीएम नीतीश कुमार?
सारांश
Key Takeaways
- नीतीश कुमार का औद्योगीकरण में रुचि
- शुगर मिलों जैसे मुद्दों का समाधान
- लोगों की समस्याओं का समाधान
- वंदे मातरम पर संसद में चर्चा
- यात्रियों की सुरक्षा के लिए एयरलाइन का जिम्मेदारी से काम करना
पटना, 9 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार में नीतीश कुमार के नेतृत्व में एनडीए सरकार की पुनः वापसी के बाद, सत्तापक्ष के नेता प्रदेश में उद्योगों की वृद्धि की बात कर रहे हैं। इस बीच, बिहार में शुगर मिल के उद्घाटन पर जनता दल यूनाइटेड (जदयू) प्रवक्ता नीरज कुमार ने प्रशंसा की।
नीरज कुमार ने राष्ट्र प्रेस से चर्चा करते हुए कहा, "जनादेश मिलने के बाद से नीतीश कुमार ने एक पल भी विश्राम नहीं किया है, जबकि विपक्षी नेता यह दावा कर रहे हैं कि किसी भी जगह का आवंटन नहीं किया गया है। नीतीश कुमार बंद पड़ी शुगर मिलों जैसे गंभीर मुद्दों को सक्रियता से सुलझा रहे हैं। 2025 से 2030 तक बिहार में औद्योगीकरण की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा।"
इंडिगो फ्लाइट में देरी और रद्दीकरण के मामले पर जदयू प्रवक्ता ने कहा, "केंद्रीय मंत्री राम मोहन नायडू किंजरापु ने संसद में इस मुद्दे पर सफाई दी है। हम इस मामले की गहन जांच कर रहे हैं और भविष्य में ऐसी समस्याओं से बचने के लिए सख्त कार्रवाई की जाएगी। यात्रियों को असुविधा हो रही है और इंडिगो को जिम्मेदारी से कार्य करना चाहिए। यह अनिवार्य है कि एयरलाइन जनता के हित में केंद्र सरकार द्वारा निर्धारित दिशा-निर्देशों का पालन करे।"
संसद के शीतकालीन सत्र में 'वंदे मातरम' पर चर्चा को लेकर जदयू प्रवक्ता ने कहा, "इतिहास में विभिन्न राजनीतिक दलों ने इस पर अपने विचार प्रस्तुत किए हैं। हमारा राष्ट्रीय गीत स्वतंत्रता आंदोलन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा चुका है। इसे अब विभिन्न दृष्टिकोणों से देखा जा रहा है, लेकिन यह स्पष्ट है कि देश की आजादी की लड़ाई में इसका विशेष स्थान है और संसद में इस पर बहस जारी है।"
संसद के शीतकालीन सत्र में भारत के राष्ट्रीय गीत 'वंदे मातरम' के 150 वर्ष पूरे होने के अवसर पर विशेष चर्चा हो रही है। सोमवार को लोकसभा में चर्चा शुरू हुई, जो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण के साथ प्रारंभ हुई। मंगलवार को राज्यसभा में इस पर चर्चाएँ होने वाली हैं।