क्या मोकामा हत्याकांड पर उदित राज ने बिहार में जंगलराज की पराकाष्ठा बताई?
सारांश
Key Takeaways
- मोकामा में दुलारचंद यादव की हत्या
- अनंत सिंह की गिरफ्तारी
- बिहार में जंगलराज का मुद्दा
- स्थानीय राजनीतिक गतिशीलता
- राजद और जदयू की भूमिका
नई दिल्ली, २ नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार के मोकामा में दुलारचंद यादव की हत्या के मामले में अनंत सिंह की गिरफ्तारी पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कांग्रेस ने रविवार को सरकार की आलोचना की और इस घटना को जंगलराज की पराकाष्ठा बताया। कांग्रेस नेता उदित राज ने दुलारचंद यादव की हत्या पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए मोकामा विधानसभा क्षेत्र की स्थानीय राजनीतिक गतिशीलता पर अपने विचार साझा किए।
उदित राज ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा कि दुलारचंद यादव राजद का समर्थन कर रहे थे, जबकि पीयूष प्रियदर्शी धानुक समुदाय से हैं। मोकामा में भूमिहार आबादी का प्रभाव है। राजद और जदयू दोनों पार्टियों के पास मजबूत भूमिहार उम्मीदवार हैं। दुलारचंद यादव ने राजद से टिकट पाने का प्रयास किया था, लेकिन सफल नहीं हो पाए। संभवतः उनकी रणनीति जन सुराज में शामिल होकर प्रचार करना रही हो।
कांग्रेस प्रवक्ता सुरेंद्र राजपूत ने भी दुलारचंद यादव की हत्या के मामले में अनंत सिंह की गिरफ्तारी पर कड़ी प्रतिक्रिया दी और सरकार पर राज्य में अराजकता फैलाने का आरोप लगाया।
उन्होंने कहा कि यह जंगलराज की पराकाष्ठा है, एनडीए को कम से कम देश और बिहार से माफी मांगनी चाहिए। अब सरकार को बताना चाहिए कि यह किसका 'जंगलराज' है? पूरे बिहार में हत्याएं, अपहरण, लूट और डकैती हो रही हैं। खुलेआम लाशें मिल रही हैं और खुलेआम गोलियां चल रही हैं। दुलारचंद यादव को घसीटकर मारा गया और फिर उनके शव को गाड़ी से कुचल दिया गया।
पटना के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) कार्तिकेय शर्मा के अनुसार, अनंत सिंह को दुलारचंद यादव की हत्या के सिलसिले में गिरफ्तार किया गया है। पुलिस ने बताया कि यह घटना ३० अक्टूबर को मोकामा के खुशहाल चक के पास हुई। जन सुराज के उम्मीदवार पीयूष प्रियदर्शी, जिन्हें लल्लू मुखिया के नाम से भी जाना जाता है, अपने समर्थकों के साथ प्रचार कर रहे थे, उनके साथ यादव भी थे।
लगभग उसी समय, अनंत सिंह और उनके समर्थक कथित तौर पर उसी इलाके से गुज़र रहे थे। दोनों समूहों के बीच तीखी बहस हुई, जो पथराव और हिंसा में बदल गई, जिसके परिणामस्वरूप यादव की मृत्यु हुई।
यह गिरफ्तारी बिहार में मतदान से कुछ दिन पहले हुई है। बिहार विधानसभा चुनाव का पहला चरण ६ नवंबर को और दूसरा चरण ११ नवंबर को होगा। मतगणना १४ नवंबर को होगी।