चुनाव आयोग ने एसआईआर के दूसरे फेज की घोषणा की है? पश्चिम बंगाल समेत इन 12 राज्यों के नाम
सारांश
Key Takeaways
- मतदाता सूची का रिवीजन हर चुनाव से पहले अनिवार्य है।
- एसआईआर के अंतर्गत 12 राज्यों की मतदाता सूची को अद्यतन किया जाएगा।
- पिछली बार एसआईआर 2000 से 2004 के बीच हुई थी।
- बिहार की मतदाता सूची अब तक की सबसे शुद्ध मानी गई है।
- प्रत्येक राजनीतिक दल को इस प्रक्रिया का समर्थन करना चाहिए।
नई दिल्ली, 27 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। चुनाव आयोग ने सोमवार को देश के दूसरे चरण में होने वाले विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण (एसआईआर) की घोषणा की है। इस दूसरे चरण में देश के 12 राज्यों को एसआईआर के अंतर्गत शामिल किया जाएगा।
इस दूसरे चरण में पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, राजस्थान, पुडुचेरी, मध्य प्रदेश, लक्षद्वीप, केरल, गुजरात, गोवा, छत्तीसगढ़ और अंडमान और निकोबार में एसआईआर प्रस्तावित है।
इन 12 राज्यों में एसआईआर की घोषणा भारत के मुख्य निर्वाचन आयुक्त (सीईसी) ज्ञानेश कुमार ने सोमवार को आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में की।
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि सोमवार रात को इन राज्यों की मतदाता सूची को फ्रीज कर दिया जाएगा।
उन्होंने एसआईआर की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि 2000 से 2004 के बीच पिछली बार एसआईआर हुई थी, ऐसे में लगभग दो दशक बाद मतदाता सूची में त्रुटियों को दूर करने के लिए विशेष इंटेसिंव रिवीजन आवश्यक है।
उन्होंने कहा, "हर चुनाव से पहले इलेक्ट्रोरल रोल का रिवीजन अनिवार्य है। पिछले कुछ वर्षों में कई राजनीतिक पार्टियों ने मतदाता सूची के शुद्ध न होने पर आपत्ति जताई है।"
प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान सीईसी ने बिहार में हुई एसआईआर की तारीफ की। उन्होंने बताया कि इस दौरान राजनीतिक दलों ने शून्य आपत्तियां दर्ज कराई हैं, जो यह दर्शाता है कि बिहार की मतदाता सूची अब तक की सबसे शुद्ध सूची है।
ज्ञानेश कुमार ने कहा, "एसआईआर का फेज वन समाप्त हुआ, जिसकी सबसे बड़ी खूबी यह रही कि बिहार के सभी 7.5 करोड़ मतदाताओं ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। इस दौरान जीरो अपील आई, जिसका मतलब है कि बिहार की मतदाता सूची बेहद उचित मानी जाएगी। अब फेज 2 की तैयारी चल रही है।"