क्या दिल्ली के लाल किले के पास ब्लास्ट पर संत महामंडलेश्वर स्वामी ज्ञानानंद भड़के?

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क्या दिल्ली के लाल किले के पास ब्लास्ट पर संत महामंडलेश्वर स्वामी ज्ञानानंद भड़के?

सारांश

दिल्ली के लाल किले के पास हुए ब्लास्ट पर संत महामंडलेश्वर स्वामी ज्ञानानंद ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने सरकार से अपील की है कि आरोपियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई करें। यह बयान समाज के लिए एक महत्वपूर्ण संदेश है कि आतंकवाद के खिलाफ एकजुट होना आवश्यक है।

Key Takeaways

  • दिल्ली का ब्लास्ट आतंकवाद का एक गंभीर उदाहरण है।
  • स्वामी ज्ञानानंद की सख्त निंदा ने जनता का ध्यान आकर्षित किया।
  • सरकार को सख्त कदम उठाने की आवश्यकता है।
  • राष्ट्रवाद की भावना को जागरूक करना आवश्यक है।
  • सामाजिक जागरूकता से असामाजिक तत्वों का सामना किया जा सकता है।

जम्मू कश्मीर, १२ नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। प्रसिद्ध गीता प्रवक्ता और संत महामंडलेश्वर स्वामी ज्ञानानंद ने दिल्ली के लाल किले के निकट हुए ब्लास्ट की तीखी निंदा की है। उन्होंने सरकार से अपील की है कि वह आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करे और विश्व को आतंकवाद के खिलाफ एक स्पष्ट संदेश भेजे।

स्वामी ज्ञानानंद ने कहा कि यह कृत्य अत्यंत बर्बरता है और यह चिंताजनक है कि कुछ लोग भारत में रहकर, यहाँ का भोजन ग्रहण करते हुए ऐसी योजनाएँ बना रहे हैं। यह निंदनीय है और ऐसे व्यक्तियों को इतनी कठोर सजाएँ मिलनी चाहिए कि कोई भी ऐसा करने का साहस न कर सके। हमें विश्वास है कि सरकार इस दिशा में कदम उठा रही है। जैसे पाकिस्तान में 'ऑपरेशन सिंदूर' किया गया, उसी प्रकार ऐसे व्यक्तियों के लिए भी ऑपरेशन चलाना आवश्यक है।

उन्होंने फरीदाबाद में पकड़े गए डॉक्टर का उदाहरण देते हुए कहा कि इसी कारण हम डॉक्टरों को गीता के महत्व को समझाने पर जोर दे रहे हैं, ताकि वे ये समझ सकें कि दूसरों का दुख भी हमारा दुख है। यदि वे समझते हैं, तो मानवता का उद्धार संभव है। यदि आप चिकित्सा के माध्यम से देश के खिलाफ कार्य करेंगे, तो यह गलत है। हमें समाज में राष्ट्रवाद

स्वामी ज्ञानानंद ने कहा कि सरकार को सख्त कदम उठाने चाहिए, लेकिन जनता की जागरूकता भी जरूरी है, ताकि हम अपने आसपास ऐसे लोगों को पहचान सकें। होटल संचालकों को अपनी सम्पूर्ण जानकारी बोर्ड पर लिखनी चाहिए। कुछ धर्म के तथाकथित लोग भेदभाव का आरोप लगाते हैं, लेकिन यह भेदभाव नहीं, जागरूकता का सही तरीका है।

उन्होंने कहा, "हम सरकार से अपील करेंगे कि इस मामले में सख्त कार्रवाई की जाए, क्योंकि ऐसा न करने से समाज के अन्य कोनों में छिपे असामाजिक तत्वों को बल मिलेगा।"

Point of View

लेकिन समाज में जागरूकता भी आवश्यक है। यह आवश्यक है कि हम सभी मिलकर इस समस्या का समाधान करें।
NationPress
12/11/2025

Frequently Asked Questions

दिल्ली के लाल किले के पास ब्लास्ट कब हुआ?
ब्लास्ट १२ नवंबर को हुआ।
स्वामी ज्ञानानंद ने इस घटना पर क्या कहा?
स्वामी ज्ञानानंद ने इसे बर्बरता बताया और सख्त कार्रवाई की अपील की।
क्या सरकार ने इस मामले पर कार्रवाई की है?
स्वामी ज्ञानानंद ने सरकार से सख्त कार्रवाई की अपील की है।
ब्लास्ट के पीछे के लोगों को सजा क्यों दी जानी चाहिए?
ताकि अन्य लोग इस प्रकार के कृत्यों से डरें और ऐसा करने की कोशिश न करें।
क्या समाज को जागरूक होना चाहिए?
हाँ, समाज को जागरूक होना आवश्यक है ताकि हम असामाजिक तत्वों को पहचान सकें।