क्या 'वोटर अधिकार यात्रा' सत्ता पाने के लिए है या लोकतंत्र बचाने के लिए? : मुकुल वासनिक

सारांश
Key Takeaways
- मतदाता अधिकार के प्रति जागरूकता फैलाना आवश्यक है।
- लोकतंत्र की सुरक्षा हर नागरिक की जिम्मेदारी है।
- चुनाव आयोग को निष्पक्षता से कार्य करना चाहिए।
- 65 लाख मतदाताओं को वोटर लिस्ट से हटाना चिंता का विषय है।
- नई राजनीतिक सदस्यता का स्वागत किया जाना चाहिए।
अहमदाबाद, 17 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। कांग्रेस के नेता राहुल गांधी ने बिहार में 'वोटर अधिकार यात्रा' की औपचारिक शुरुआत की। इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य मतदाताओं को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक करना है। इसी दौरान, कांग्रेस नेता मुकुल वासनिक अहमदाबाद में उपस्थित हैं।
मुकुल वासनिक ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत के दौरान कहा कि लोकतंत्र की नींव मतदाता सूची पर आधारित है। यदि इस सूची में कोई गड़बड़ी है तो यह हमारे देश के लोकतंत्र के लिए एक बड़ा खतरा बन सकता है। कांग्रेस पार्टी का मानना है कि यह संघर्ष सत्ता में आने के लिए नहीं, बल्कि लोकतंत्र को सुरक्षित रखने के लिए है। उन्होंने बताया कि बिहार में 65 लाख मतदाताओं को वोटर लिस्ट से हटा दिया गया है, यह अत्यंत चिंताजनक है। चुनाव आयोग का कहना है कि कानून में यह नहीं बताया गया है कि किस मतदाता का नाम क्यों हटाया गया है।
उन्होंने आगे कहा कि चुनाव आयोग को निष्पक्षता से कार्य करना चाहिए, क्योंकि यही लोकतंत्र के लिए आवश्यक है।
'आप' के नेताओं की कांग्रेस में वापसी पर मुकुल वासनिक ने कहा कि मैं गांधीनगर और अहमदाबाद के उन सभी साथियों का स्वागत करता हूं, जो हाल ही में आम आदमी पार्टी से कांग्रेस में शामिल हुए हैं। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की ओर से मैं आपको यह बताना चाहता हूं, यह आपका अपना घर है।
उन्होंने कहा कि यहां पर गुजरात कांग्रेस कमेटी की राजनीतिक सलाहकार समिति की बैठक हुई थी। इस बैठक में सभी वरिष्ठ पदाधिकारी शामिल थे। गुजरात की जनता के सामने मौजूद मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की गई। हाल ही में राहुल गांधी ने दिल्ली में प्रेस वार्ता में बताया कि मतदाता सूची में कितनी व्यापक गड़बड़ी हो रही है, यह मुद्दा संसद में भी उठाया गया। इस आंदोलन को तेज करने पर भी चर्चा की गई।