क्या मूली केवल सब्जी है या इसमें औषधीय गुण भी हैं?
सारांश
Key Takeaways
- मूली का रस पाचन में सुधार करता है।
- यह लिवर और किडनी के लिए फायदेमंद है।
- मूली में कम कैलोरी और अधिक फाइबर होता है।
- त्वचा और बालों के लिए मूली एक टॉनिक की तरह काम करती है।
- अधिक सेवन से गैस या पेट दर्द हो सकता है।
नई दिल्ली, 2 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। मूली केवल एक साधारण सब्जी नहीं है, बल्कि यह एक प्रभावी औषधि के रूप में भी कार्य करती है, जो हमारे शरीर को आंतरिक रूप से स्वस्थ बनाती है। आयुर्वेद में इसे मूलिका रसायन कहा गया है, जो कई रोगों को समाप्त करने की क्षमता रखती है। मूली कफ और वात दोष को संतुलित करती है, पाचन शक्ति को बढ़ाती है और शरीर से विषैले तत्वों को बाहर निकालती है।
यदि आपको पेट में भारीपन, गैस या अपच की समस्या है, तो मूली का रस एक अद्भुत उपचार हो सकता है। रोजाना खाने से पहले एक चम्मच मूली का रस हल्के नमक के साथ लेने से पाचन में सुधार होता है और टॉक्सिन बाहर निकलते हैं। मूली लिवर और पित्ताशय की सफाई करने में भी मदद करती है। सुबह खाली पेट आधा कप मूली का रस पीने से लिवर की सूजन कम होती है और पीलिया जैसी बीमारियों से राहत मिलती है। खांसी और कफ में यह सबसे प्रभावी मानी जाती है। मूली का रस और शहद मिलाकर दिन में दो बार लेने से बलगम बाहर निकल जाता है।
मूली एक उत्कृष्ट ब्लड प्यूरीफायर भी है। इसका रस शरीर से टॉक्सिन निकालकर त्वचा को साफ करता है और मुंहासे, फोड़े-फुंसी जैसी समस्याओं से बचाता है। थायराइड और मेटाबॉलिज्म को भी यह संतुलित रखती है, क्योंकि मूली अग्निदीपक और कफ नाशक होती है। इससे वजन नियंत्रित रहता है और शरीर ऊर्जावान महसूस करता है। मूली का रस एक प्राकृतिक मूत्रल औषधि है, जो किडनी स्टोन और यूरिन इंफेक्शन में राहत देती है। यह शरीर से अतिरिक्त लवण और विष निकालती है।
दिलमूली बहुत फायदेमंद है, क्योंकि इसमें पोटेशियम, फाइबर और एंटीऑक्सीडेंट होते हैं जो ब्लड प्रेशर और कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित रखते हैं। वजन घटाने वालों के लिए मूली एक स्वास्थ्यवर्धक विकल्प है। इसमें कैलोरी कम और फाइबर अधिक होता है, जिससे भूख कम लगती है। कच्ची मूली चबाने से दांत और मसूड़े मजबूत होते हैं।
त्वचा और बालों के लिए भी यह टॉनिक का कार्य करती है। मूली में मौजूद सल्फर, जिंक और विटामिन सी त्वचा को चमकदार और बालों को मजबूत बनाते हैं।
यह ध्यान रखें कि मूली का अत्यधिक सेवन न करें, क्योंकि इससे गैस या पेट दर्द हो सकता है। रात में मूली खाने से बचें, यह वात दोष को बढ़ा सकती है। हमेशा ताजगी से भरी मूली ही खाएं, पुरानी मूली हानिकारक हो सकती है।