क्या भारत को आईएसएसए अवॉर्ड मिलने से हर कर्मचारी के भविष्य को सुरक्षित करने के पीएम मोदी के विजन का पता चलता है?

सारांश
Key Takeaways
- भारत को आईएसएसए अवॉर्ड मिला है।
- सामाजिक सुरक्षा में सुधार हो रहा है।
- प्रधानमंत्री मोदी का दृष्टिकोण 'अंत्योदय' है।
- सोशल सिक्योरिटी कवरेज में वृद्धि हुई है।
- यह उपलब्धि भारत की सामाजिक प्रगति का प्रतीक है।
नई दिल्ली, 12 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। भारत को सोशल सिक्योरिटी में उत्कृष्टता के लिए इंटरनेशनल सोशल सिक्योरिटी एसोसिएशन (आईएसएसए) अवॉर्ड मिलने पर इंडस्ट्री से जुड़े विशेषज्ञों ने रविवार को कहा कि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करने के दीर्घकालिक दृष्टिकोण को दर्शाता है।
समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से चर्चा करते हुए, अपना डॉट कॉम के उपाध्यक्ष, डॉ. प्रीत दीप सिंह ने कहा कि मुझे लगता है कि सामाजिक सुरक्षा एक ऐसा विषय है जिसे हम अतीत में अक्सर नजरअंदाज करते थे और केवल वर्तमान पर ध्यान केंद्रित करते थे। यह अवॉर्ड हमारे प्रधानमंत्री के हर कर्मचारी के भविष्य को सुरक्षित करने के दीर्घकालिक दृष्टिकोण को दर्शाता है। यह दिखाता है कि उनके नेतृत्व में भारत यह सुनिश्चित कर रहा है कि विकसित भारत की दिशा में कोई भी नागरिक पीछे न छूटे।
उन्होंने आगे कहा कि यह उपलब्धि पीएम मोदी के “अंत्योदय” के दृष्टिकोण से गहराई से जुड़ी हुई है। उनकी माँ की यह सलाह कि हमेशा सबसे गरीब व्यक्ति के बारे में सोचें, उनकी हर नीति में झलकती है। यह याद दिलाता है कि प्रगति तभी सार्थक होती है जब वह उन लोगों तक पहुंचे जिनके पास कभी सामाजिक सुरक्षा नहीं थी। सरकार के प्रयास सबसे वंचित नागरिकों को भी सशक्त बना रहे हैं।
सिंह ने इस अवॉर्ड के महत्व के बारे में बताते हुए कहा कि यह पुरस्कार हर सप्ताह नहीं, बल्कि हर तीन वर्षों में एक बार मिलता है। इसलिए, एक तरह से, यह भारत की सामाजिक प्रगति के लिए ओलंपिक पदक जीतने जैसा है। यह हमारे बढ़ते वैश्विक कद और विश्वसनीयता का प्रतीक है। पीएम मोदी और डॉ. मनसुख मंडाविया के नेतृत्व ने यह सुनिश्चित किया है कि भारत को न केवल वैश्विक मंच पर एक स्थान मिले, बल्कि एक मजबूत और सम्मानित आवाज भी मिले।
टीमलीज एडटेक के मुख्य परिचालन अधिकारी, जयदीप केवलरमानी ने कहा कि इस वर्ष का आईएसएसए अवॉर्ड 2025 हमारे लिए गर्व का क्षण है। यह दर्शाता है कि भारत में सभी श्रमिकों के लिए समावेशी विकास हो रहा है, जो वैश्विक मानकों के अनुरूप है। यह एक विकसित भारत के प्रति मजबूत संकेत को दर्शाता है और हमारी प्रगति में वैश्विक विश्वास को उजागर करता है।
उन्होंने आगे कहा कि सोशल सिक्योरिटी कवरेज का 19 प्रतिशत से 63 प्रतिशत तक पहुंचना एक उत्कृष्ट उपलब्धि है। यह दर्शाता है कि करोड़ों श्रमिक अब सामाजिक सुरक्षा के दायरे में हैं, जो समावेशी औद्योगिक विकास का प्रतीक है।