क्या अमेरिकी राज्यों ने वाशिंगटन में नेशनल गार्ड के और सैनिक भेजे?

सारांश
Key Takeaways
- ट्रंप ने वाशिंगटन में अपराध को नियंत्रण में लाने के लिए नेशनल गार्ड को तैनात किया।
- अमेरिकी राज्यों ने मिलकर सुरक्षा उपायों को बढ़ाने का निर्णय लिया है।
- डेमोक्रेट्स ने इसे राजनीतिक कदम माना है।
- इस कदम से राष्ट्रीय एकता पर प्रभाव पड़ सकता है।
वाशिंगटन, 20 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। अमेरिकी राज्य टेनेसी ने घोषणा की है कि वाशिंगटन में लगभग 160 नेशनल गार्ड्स को तैनात किया जा रहा है। यह घोषणा उस समय की गई है, जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बताया कि देश की राजधानी में अपराध नियंत्रण से बाहर हो गए हैं और लोग बेघर हो रहे हैं।
यह नया घटनाक्रम ट्रंप द्वारा 11 अगस्त को वाशिंगटन में लगभग 800 सैनिकों की तैनाती के एक सप्ताह बाद आया है।
वेस्ट वर्जीनिया, ओहायो और साउथ कैरोलिना के रिपब्लिकन गवर्नरों ने वाशिंगटन में नेशनल गार्ड के सैनिकों को तैनात करने का वादा किया था। सोमवार को, मिसिसिपी और लुइसियाना ने भी कहा कि वे वाशिंगटन में नेशनल गार्ड के सैनिकों को तैनात करेंगे।
रिपब्लिकन नेतृत्व वाले टेनेसी से सैनिकों के इस सप्ताह के अंत तक पहुंचने की उम्मीद है। तब तक, वाशिंगटन में नेशनल गार्ड के सैनिकों की कुल संख्या लगभग 2,000 तक पहुँच सकती है।
इन कदमों की डेमोक्रेट्स ने कड़ी आलोचना की है। डेमोक्रेटिक गवर्नर्स एसोसिएशन की अध्यक्ष, कंसास की गवर्नर लॉरा केली ने मंगलवार को ओहायो, वेस्ट वर्जीनिया, साउथ कैरोलिना, मिसिसिपी और अन्य राज्यों के सहयोगियों से आग्रह किया कि वे अपने नेशनल गार्ड सैनिकों का उपयोग ट्रंप के खतरनाक, राजनीति से प्रेरित एजेंडे के लिए न करें।
केली ने कहा, "किसी अन्य क्षेत्राधिकार में नेशनल गार्ड सैनिकों को तैनात करना, बिना राज्य के गवर्नर की सहमति के, नेशनल गार्ड के मिशन को कमजोर करता है और वास्तविक आपात स्थितियों के लिए आवश्यक संसाधनों की बर्बादी है।"
इसके अलावा, केली ने इस कदम को राष्ट्रीय एकता के लिए हानिकारक बताया, क्योंकि यह देश में पहले से मौजूद विभाजन को और गहरा करता है।