क्या जोहरान ममदानी ने मेयर बनने के बाद ट्रंप को चुनौती दी?
सारांश
Key Takeaways
- जोहरान ममदानी ने न्यूयॉर्क शहर के मेयर के रूप में जीत हासिल की।
- उन्होंने राष्ट्रपति ट्रंप को आव्रजन के मुद्दे पर चुनौती दी।
- ममदानी के चुनावी वादे में फ्री स्पीड बस और बच्चों की देखभाल शामिल हैं।
- उनकी जीत एक नए राजनीतिक युग की शुरुआत का प्रतीक है।
- वे यहूदी विरोधी भावना के खिलाफ सख्ती से खड़े होने का वादा करते हैं।
न्यूयॉर्क, 5 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। अमेरिका के न्यूयॉर्क शहर के मेयर पद पर विजय हासिल करते ही डेमोक्रेटिक उम्मीदवार जोहरान ममदानी ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को आव्रजन के मुद्दे पर चुनौती दे डाली। उन्होंने कहा कि उनके प्रवर्तन अभियान के लिए आपको हम सभी से होकर गुजरना होगा।
ब्रुकलिन के एक थिएटर में अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए नवनिर्वाचित मेयर ने कहा कि एक अप्रवासी के नेतृत्व वाला शहर हमेशा अप्रवासियों का स्वागत करेगा। ममदानी ने कहा, "डोनाल्ड ट्रंप, चूंकि मुझे पता है कि आप देख रहे हैं, मेरे पास आपके लिए चार शब्द हैं- टर्न द वॉल्यूम अप (वॉल्यूम बढ़ा दीजिए)।"
मानो चुनौती स्वीकार करते हुए राष्ट्रपति ट्रंप ने भी ट्रुथ सोशल पर चार शब्दों का एक संदेश दिया, "एंड सो इट बिगंस" (और यह शुरू होता है)।
चुनाव से एक दिन पहले अमेरिकी राष्ट्रपति ने डेमोक्रेटिक सोशलिस्ट को कम्युनिस्ट करार देते हुए कहा था कि अगर ममदानी जीतते हैं तो न्यूयॉर्क शहर "एक पूर्ण आर्थिक और सामाजिक आपदा" बन जाएगा। ट्रंप ने न्यूयॉर्क के लिए फेडरल फंड में कटौती की धमकी भी दी है।
चुनाव जीतने के बाद ममदानी ने कहा, "अब हमें यह साबित करने के लिए इतिहास की किताब नहीं खोलनी पड़ेगी कि डेमोक्रेट महान बनने का साहस कर सकते हैं।" मेयर चुनाव जीतने के बाद उन्होंने फ्री स्पीड बस, सभी के लिए बच्चों की देखभाल, कुछ आवासों के किराये पर रोक और बेहतर सार्वजनिक आवास के जरिए शहर की सामर्थ्य से जुड़ी समस्या से निपटने के अपने चुनावी वादे को फिर से दोहराया। उन्होंने कहा कि उनके द्वारा लाए जा रहे बदलाव का असर हर न्यूयॉर्क वासी महसूस करेगा।
ममदानी ने कहा, "एक महान न्यूयॉर्कर ने एक बार कहा था कि जब आप कविता में प्रचार करते हैं, तो आप गद्य में शासन करते हैं।"
यह कथन गवर्नर मारियो कुओमो का था। मारियो, एंड्रयू कुओमो के पिता हैं। ममदानी ने यह कहावत चुनाव में अपने प्रतिद्वंद्वी और निर्दलीय उम्मीदवार एंड्रयू पर तंज कसते हुए कही।
उन्होंने कहा, "राजनीतिक अंधकार के इस दौर में न्यूयॉर्क रोशन होगा।" ममदानी के संबोधन के दौरान मंच पर उनकी मां और फिल्म निर्देशक मीरा नायर और पिता महमूद ममदानी मौजूद रहे।
अपनी आलोचनाओं का जिक्र करते हुए ममदानी ने कहा, "मैं जवान हूं, भले ही मैं बूढ़ा होने की लाख कोशिश करूं। मैं मुसलमान हूं। मैं एक डेमोक्रेटिक सोशलिस्ट हूं और सबसे बुरी बात यह है कि मैं इनमें से किसी भी बात के लिए माफी मांगने से इनकार करता हूं।"
दरअसल, इजरायल विरोधी प्रदर्शनों का नेतृत्व करने के तरीके के कारण ममदानी पर अक्सर यहूदी विरोधी होने के आरोप लगते रहे हैं। ऐसे में उन्होंने कहा, "हम एक ऐसा सिटी हॉल बनाएंगे जो यहूदी न्यू यॉर्क वासियों के साथ दृढ़ता से खड़ा रहेगा और यहूदी विरोधी भावना के खिलाफ लड़ाई में पीछे नहीं हटेगा।"
उन्होंने कहा कि न्यूयॉर्क अब वह शहर नहीं रहेगा जहां इस्लामोफोबिया के आधार पर चुनाव जीते जा सकें। उन्होंने वादा किया कि उनकी जीत के बाद दस लाख से अधिक मुसलमान खुद को न केवल शहर के नागरिक के रूप में बल्कि सत्ता के केंद्र में भी पहचानेंगे।
चुनाव हारने के बाद एंड्रयू कुओमो ने ममदानी को बधाई दी और कहा कि दुनिया के सबसे महान शहर के लिए वह उन्हें सफल होते देखना चाहते हैं। इस पर उनके समर्थकों ने हूटिंग की और उन्होंने यह कहकर उन्हें चुप कराने की कोशिश की कि हम ऐसे नहीं हैं। वहीं ममदानी द्वारा पराजित दूसरे उम्मीदवार रिपब्लिकन कर्टिस स्लीवा ने कहा, "मैं उन्हें शुभकामनाएं देता हूं।"