क्या संघर्ष खत्म हुआ है? नेतन्याहू ने बड़ी चुनौतियों के बीच शांति के अवसरों की बात की

सारांश
Key Takeaways
- नेतन्याहू ने शांति के अवसरों की बात की है।
- राष्ट्रीय एकता की आवश्यकता पर जोर दिया गया है।
- ईरान की चुनौतियों का संकेत दिया गया है।
- हर बंधक को वापस लाने की प्रतिबद्धता जताई गई है।
- संघर्ष अभी खत्म नहीं हुआ है।
तेल अवीव, 16 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने दुश्मनों की बड़ी चुनौतियों के बीच शांति के बड़े अवसर की चर्चा की है। यह विचार उन्होंने माउंट हर्जल में आयोजित एक सरकारी कार्यक्रम के दौरान व्यक्त किए।
युद्ध में मिली सफलता की सराहना करते हुए नेतन्याहू ने कहा, "हमारे दुश्मन अब भी एक बड़ी चुनौती बने हुए हैं। वे फिर से हथियार उठाने की कोशिश कर सकते हैं।" हालांकि, उन्होंने स्पष्ट रूप से ईरान का नाम नहीं लिया, लेकिन द टाइम्स ऑफ इजरायल की रिपोर्ट के अनुसार, उनका इशारा उसी की ओर था।
नेतन्याहू ने आगे कहा, "बड़ी चुनौतियों के साथ-साथ, शांति के अवसर भी बढ़ रहे हैं। हम यह दोहराते हैं कि युद्ध के बाद इजरायल पड़ोसी अरब देशों के साथ रिश्तों को सामान्य करने और शांति समझौतों का विस्तार करने के लिए तैयार है।"
उन्होंने राष्ट्रीय एकता की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा, "हम एक साथ दोनों स्तरों पर काम कर रहे हैं, और युद्ध और शांति दोनों में एकता जरूरी है। हम अपने सभी लक्ष्यों को प्राप्त करेंगे, केवल आंतरिक एकजुटता, आपसी जिम्मेदारी और उन बंधनों को मजबूत करके जो तोड़ते नहीं बल्कि जोड़ते हैं।"
इससे पहले, उन्होंने सभी बंधकों के बारे में बात की। उन्होंने कहा, "हम हर बंधक को वापस लाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।"
प्रधानमंत्री ने कहा, "संघर्ष अभी खत्म नहीं हुआ है। लेकिन आज स्पष्ट है: जो कोई भी हमारे खिलाफ हाथ उठाएगा, उसे अपनी आक्रामकता की बड़ी कीमत चुकानी पड़ेगी। हम उस जीत को हासिल करने के लिए दृढ़ हैं जो आने वाले कई वर्षों तक हमारे जीवन की दिशा तय करेगी।"
उन्होंने शहीद सैनिकों के परिवारों से कहा, "मैं आपके दुख की गंभीरता को समझता हूं। मैं युद्ध में लड़ने वाले सभी सैनिकों—यहूदियों, ड्रूज़, ईसाइयों, मुसलमानों, बेडौइन, सर्कसियन, और अन्य समूहों के सदस्यों—का राष्ट्र की ओर से आभार व्यक्त करता हूं।"