क्या इमरान खान की पार्टी ने नेशनल असेंबली सत्रों का बहिष्कार किया?

सारांश
Key Takeaways
- पीटीआई ने नेशनल असेंबली के सत्रों का बहिष्कार किया।
- यह निर्णय अनुचित व्यवहार के विरोध में लिया गया है।
- पार्टी के कई सांसदों ने इस्तीफे दिए हैं।
- इमरान खान के निर्देशों का पालन किया गया।
- आने वाले उपचुनावों के लिए रणनीति में बदलाव।
इस्लामाबाद, 2 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने नेशनल असेंबली (एनए) सत्रों का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है। पार्टी के अध्यक्ष बैरिस्टर गोहर अली खान ने मंगलवार को संवाददाताओं से कहा कि यह फैसला पार्टी के सांसदों के साथ हो रहे अनुचित व्यवहार के खिलाफ उठाया गया है।
गोहर अली खान ने कहा, "अब से हम नेशनल असेंबली की कार्यवाही में भाग नहीं लेंगे। हम विरोध करेंगे और बहिष्कार करेंगे।" उन्होंने बताया कि पीटीआई संसदीय दल की बैठक खैबर पख्तूनख्वा हाउस में हुई, जिसमें संस्थापक इमरान खान के निर्देशों को सुना गया और सर्वसम्मति से समर्थन प्राप्त हुआ।
उन्होंने आरोप लगाया कि पीटीआई सांसदों को अयोग्य ठहराया जा रहा है, उनकी सीटें छीनी जा रही हैं और उनकी आवाज दबाई जा रही है। गोहर ने कहा, "हम स्वतंत्रता दिवस मनाने की कोशिश करते हैं तो अनुमति नहीं दी जाती। तमाम मुश्किलों के बावजूद हम सत्रों में शामिल होकर लोकतांत्रिक तरीके से मांगें रखते हैं, लेकिन हमें बोलने नहीं दिया जाता।"
इससे पहले अगस्त में भी पीटीआई सांसदों ने इमरान खान के निर्देश पर संसदीय स्थायी समितियों से इस्तीफा दे दिया था। पार्टी की रणनीति में आने वाले उपचुनावों के बहिष्कार का फैसला भी शामिल है।
पीटीआई के सांसद अली असघर, साजिद खान, शाहिद खट्टक, फैसल अमीन खान और आसिफ खान ने विभिन्न संसदीय समितियों से इस्तीफे दिए हैं। असघर ने कैबिनेट, निजीकरण और योजना समितियों से इस्तीफा दिया, जबकि फैसल अमीन खान ने आर्थिक मामलों, खाद्य सुरक्षा और संसदीय टास्क फोर्स समितियों से त्यागपत्र दिया।
खट्टक ने सभी स्थायी समितियों से इस्तीफा देने की घोषणा की, वहीं आसिफ ने शिक्षा, राष्ट्रीय धरोहर, संस्कृति और सूचना एवं प्रसारण समितियों से इस्तीफा दे दिया। जुनैद अखबर ने लोक लेखा समिति (पीएसी) के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया।
पार्टी सूत्रों के मुताबिक, नेशनल असेंबली के स्पीकर अयाज सादिक ने फैसल और अली के इस्तीफे स्वीकार कर लिए हैं। पीटीआई प्रवक्ता शेख वकास अकरम ने भी सभी संसदीय स्थायी समितियों से इस्तीफा दे दिया है।