क्या अमित खरे को उपराष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन का सचिव नियुक्त किया गया?
 
                                सारांश
Key Takeaways
- अमित खरे का सचिव के रूप में नियुक्त होना एक महत्वपूर्ण प्रशासनिक कदम है।
- उन्होंने चारा घोटाले का पर्दाफाश कर प्रशासनिक पहचान बनाई।
- उनकी शिक्षा और प्रशासनिक अनुभव से उपराष्ट्रपति कार्यालय को लाभ होगा।
- खरे ने विभिन्न सामाजिक सुधार योजनाओं में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
- उनकी नियुक्ति राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के कार्यान्वयन में भी सहायक होगी।
नई दिल्ली, 14 सितंबर (राष्ट्र प्रेस) कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने 1985 बैच के आईएएस और वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी अमित खरे (सेवानिवृत्त) को उपराष्ट्रपति सीपी राधाकृष्णन का सचिव नियुक्त किया है। अमित खरे झारखंड कैडर के आईएएस अधिकारी रहे हैं। उन्हें बिहार के कुख्यात चारा घोटाले का पर्दाफाश करने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका के लिए जाना जाता है। रविवार को उनकी नियुक्ति को मंजूरी दी गई।
ज्ञात हो कि सीपी राधाकृष्णन ने 12 सितंबर को भारत के 15वें उपराष्ट्रपति के रूप में शपथ ग्रहण की है। उपराष्ट्रपति के पद पर रहते हुए वह राज्यसभा के सभापति भी हैं। कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग द्वारा जारी आदेश के अनुसार, अमित खरे की नियुक्ति सचिव स्तर के पद और वेतनमान पर अनुबंध के आधार पर तीन वर्षों के लिए होगी। नियुक्ति की गणना कार्यभार संभालने की तिथि से की जाएगी। खरे 12 अक्टूबर 2021 से प्रधानमंत्री कार्यालय में प्रधानमंत्री के सलाहकार के रूप में कार्यरत थे, जहाँ उन्होंने सामाजिक क्षेत्र से जुड़े मामलों का ध्यान रखा। उन्होंने केंद्र और राज्य सरकारों में कई महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया है।
वह केंद्र में शिक्षा मंत्रालय में काम कर चुके हैं और उच्च शिक्षा में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। इस दौरान उन्होंने यूनेस्को, शिक्षा नीति, पुस्तक प्रोत्साहन और कॉपीराइट जैसे विषयों का प्रबंधन किया। इसके साथ ही, झारखंड सरकार में भी विभिन्न पदों पर कार्य कर चुके हैं, जिसमें सचिव, एचआरडी, कुलपति, रांची विश्वविद्यालय, विकास आयुक्त एवं अपर मुख्य सचिव, वित्त–परियोजना विभाग शामिल हैं।
उन्होंने विभिन्न विभागों में रहते हुए प्री-बजट परामर्श, परफॉर्मेंस बजटिंग, जेंडर बजटिंग, सेक्टोरल बजटिंग, वित्तीय समावेशन, डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर और विभिन्न केंद्रीय व राज्य योजनाओं के क्रियान्वयन जैसे कई सुधार लागू किए हैं। भारत सरकार में सचिव स्तर की भूमिकाएं निभाने के अलावा, वह सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय में भी रहे हैं। इसके अतिरिक्त, उन्होंने स्कूल शिक्षा एवं साक्षरता विभाग और उच्च शिक्षा विभाग का प्रबंधन किया। वह राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के निर्माण और क्रियान्वयन में कोर टीम के सदस्य भी रहे हैं। अमित खरे ने सेंट स्टीफंस कॉलेज, दिल्ली से स्नातक की डिग्री प्राप्त की और इसके बाद भारतीय प्रबंधन संस्थान (आईआईएम), अहमदाबाद से पोस्ट ग्रेजुएशन (एमबीए) किया।
 
                     
                                             
                                             
                                             
                                            