क्या एटीएस ने ठाणे और पुणे में संदिग्धों के ठिकानों पर छापे मारे?
सारांश
Key Takeaways
- एटीएस ने ठाणे और पुणे में छापे मारे।
- जुबैर हंगरगेकर को गिरफ्तार किया गया।
- इब्राहिम आबिदी संदिग्ध शिक्षक है।
- सुरक्षा बल सक्रियता से काम कर रहे हैं।
- आतंकवाद से संबंधित गतिविधियों की जांच हो रही है।
पुणे, 12 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन पर हाल ही में हुए बम धमाके के पश्चात, महाराष्ट्र एंटी-टेररिज्म स्क्वॉड (एटीएस) ने ठाणे और पुणे में संदिग्धों के ठिकानों पर छापेमारी की। एटीएस की टीम ठाणे जिले के मुंब्रा कौसा इलाके में एक मदरसे के शिक्षक के निवास और पुणे के कोंढवा में एक अन्य स्थान पर पहुंची।
यह कार्रवाई हाल ही में गिरफ्तार सॉफ्टवेयर इंजीनियर जुबैर इलियास हंगरगेकर के केस की जांच के संदर्भ में की गई। अधिकारियों ने सुरक्षा कारणों से संदिग्धों के नाम सार्वजनिक नहीं किए, लेकिन सूत्रों के अनुसार एक संदिग्ध इब्राहिम आबिदी है, जो मुंब्रा का शिक्षक है और जमात-ए-इस्लामिया से जुड़ा हुआ बताया जा रहा है।
एटीएस ने यह स्पष्ट किया है कि ये छापेमारी दिल्ली में सोमवार को हुए कार बम विस्फोट से सीधे संबंधित नहीं हैं, जिसमें 12 लोगों की जान गई थी। फिर भी, एजेंसी जम्मू-कश्मीर, फरीदाबाद और दिल्ली की हाल की गतिविधियों के संभावित संबंधों की जांच कर रही है।
एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, "यह मानक जांच प्रक्रिया का हिस्सा है। हम हर संभावित संबंध की जांच कर रहे हैं ताकि राज्य में सुरक्षा बनी रहे।"
छापेमारी के दौरान दोनों स्थानों से इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, दस्तावेज और अन्य सामग्री जब्त की गई। मुंब्रा के शिक्षक को हिरासत में लेकर उसके कुर्ला स्थित दूसरे घर की भी तलाशी ली गई।
27 अक्टूबर को एटीएस ने पुणे के कोंढवा से 37 वर्षीय सॉफ्टवेयर इंजीनियर जुबैर हंगरगेकर को गिरफ्तार किया था। उसके फोन से पाकिस्तान-आधारित अल-कायदा इन इंडियन सबकॉन्टिनेंट के हैंडलर्स से संपर्क, कट्टरपंथी प्रोपेगैंडा वीडियो और 20 से अधिक युवाओं को 'ऑनलाइन जिहाद' के लिए भर्ती करने के सबूत मिले थे।
हंगरगेकर सोलापुर के एक मध्यमवर्गीय मुस्लिम परिवार से है और आईटी कंपनी में कार्यरत था। वह कोंढवा में धार्मिक प्रवचन देता था और उस पर कट्टरपंथ फैलाने का आरोप है। यूएपीए कोर्ट ने उसे रिमांड पर भेजा था, जिससे पूछताछ के दौरान मुंब्रा के शिक्षक का नाम सामने आया।
इब्राहिम आबिदी कौसा में एक किराए के फ्लैट में रहता है और स्थानीय मदरसे में पढ़ाता है। एटीएस को शक है कि वह बच्चों और युवाओं को आतंकी गतिविधियों के लिए भड़काता था।