क्या सरकार ने 'ऑनलाइन गेमिंग विधेयक- 2025' लोकसभा में पेश किया?

सारांश
Key Takeaways
- मोदी सरकार ने 'ऑनलाइन गेमिंग विधेयक-2025' पेश किया है।
- यह विधेयक ई-स्पोर्ट्स और सामाजिक खेलों को बढ़ावा देगा।
- ऑनलाइन मनी गेमिंग पर प्रतिबंध लगेगा।
- युवाओं को आर्थिक धोखाधड़ी से बचाने का प्रयास।
- खेल मंत्रालय ई-स्पोर्ट्स के लिए समर्पित ढांचा स्थापित करेगा।
नई दिल्ली, 20 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। पिछले 11 वर्षों में डिजिटल तकनीक ने लोगों के जीवन में एक बड़ा परिवर्तन लाया है। डिजिटल इंडिया, डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर, यूपीआई पेमेंट सिस्टम, 5जी कनेक्टिविटी और सेमीकंडक्टर इकोसिस्टम ने भारत को एक नई पहचान दी है।
मोदी सरकार के दूरदर्शी नेतृत्व में विभिन्न क्षेत्रों में तकनीक के उपयोग ने नागरिकों को कई लाभ पहुंचाए हैं। लेकिन इस डिजिटल दुनिया में कुछ नए खतरों का भी सामना करना पड़ा है। इन खतरों को ध्यान में रखते हुए, सरकार ने 'ऑनलाइन गेमिंग के प्रोत्साहन और विनियमन विधेयक, 2025' पेश किया है।
केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बुधवार को लोकसभा में 'ऑनलाइन गेमिंग संवर्धन एवं विनियमन विधेयक, 2025' को पेश किया। इस विधेयक का मुख्य उद्देश्य ई-स्पोर्ट्स, शैक्षिक और सामाजिक खेलों को बढ़ावा देना और उनका उचित विनियमन करना है, साथ ही ऑनलाइन मनी गेम्स पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगाना है।
यह विधेयक ई-स्पोर्ट्स और ऑनलाइन सोशल गेम्स को प्रोत्साहित करता है। इसके अतिरिक्त, ऑनलाइन मनी गेमिंग सेवाओं, विज्ञापनों और उनसे संबंधित वित्तीय लेनदेन पर प्रतिबंध लगाया जाएगा। सभी प्रकार की ऑनलाइन सट्टेबाजी और जुआ गतिविधियों को भी गैरकानूनी घोषित किया जाएगा।
सरकार का लक्ष्य इस विधेयक के माध्यम से युवाओं को ऑनलाइन रियल मनी गेमिंग ऐप्स के जाल से बचाना है, जो धोखाधड़ी और आर्थिक तंगी का कारण बन सकते हैं। ऑनलाइन मनी गेमिंग प्लेटफॉर्म अक्सर वित्तीय धोखाधड़ी, मनी लॉन्ड्रिंग, और राष्ट्रीय सुरक्षा से समझौता करने वाली गतिविधियों के लिए दुरुपयोग किए जाते हैं।
सरकार का मानना है कि ऑनलाइन मनी गेमिंग से जुड़ी लत, वित्तीय नुकसान और आत्महत्या जैसे गंभीर परिणामों को रोकने के लिए ऐसे गतिविधियों पर प्रतिबंध लगाना आवश्यक है।
ई-स्पोर्ट्स को बढ़ावा देने के लिए, खेल मंत्रालय एक समर्पित ढांचा स्थापित करेगा। ऑनलाइन सोशल गेम्स के लिए विभिन्न मंत्रालय सहयोग करेंगे।