क्या भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान ने रक्षा सहयोग को नई दिशा दी?

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क्या भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान ने रक्षा सहयोग को नई दिशा दी?

सारांश

भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान ने नई दिल्ली में एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया। इस वार्ता का उद्देश्य द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को मजबूत करना और नए क्षेत्रों में सहयोग को प्रोत्साहित करना है। यह बैठक दोनों सेनाओं के बीच विश्वास और सहयोग की नई नींव स्थापित करती है।

Key Takeaways

  • द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को और मजबूत करना।
  • संयुक्त सैन्य अभ्यासों के दायरे का विस्तार।
  • विशेषज्ञों का आदान-प्रदान और प्रशिक्षण सहयोग।
  • रक्षा प्रौद्योगिकी में नए क्षेत्रों में सहयोग।
  • क्षेत्रीय सुरक्षा को सुदृढ़ करना।

नई दिल्ली, 23 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान के बीच एक महत्वपूर्ण संवाद का आयोजन किया गया। यह सैन्य वार्ता नई दिल्ली में 22 से 23 अक्टूबर के बीच हुई। यह भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान के बीच तीसरी आर्मी-टू-आर्मी स्टाफ वार्ता है।

भारतीय सेना के अनुसार, इस दो दिवसीय बैठक में दोनों देशों के वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों ने भाग लिया। बैठक का मुख्य उद्देश्य भारत और ओमान के बीच द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को और मजबूत और विस्तृत करना था।

भारतीय सेना का कहना है कि वार्ता के दौरान कई महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा हुई। इनमें संयुक्त सैन्य अभ्यासों के दायरे का विस्तार, विशिष्ट क्षेत्रों में विशेषज्ञों का आदान-प्रदान और प्रशिक्षण सहयोग को और गहराई से करने पर जोर दिया गया। दोनों पक्षों ने रक्षा क्षमताओं के विकास, सैन्य शिक्षा और रक्षा सहयोग की नई संभावनाओं पर भी चर्चा की। यह चर्चाएं डिफेंस कोऑपरेशन प्लान 2026 के तहत की गईं, जिसका उद्देश्य भारत-ओमान रक्षा साझेदारी को रणनीतिक रूप से नई दिशा प्रदान करना है।

वार्ता के दौरान दोनों सेनाओं ने इस बात पर सहमति जताई कि वर्तमान वैश्विक सुरक्षा परिदृश्य में भारत और ओमान के बीच सहयोग न केवल द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करेगा, बल्कि क्षेत्रीय स्थिरता और समुद्री सुरक्षा के लिए भी महत्वपूर्ण योगदान देगा। ओमान, भारतीय सागर क्षेत्र में भारत का एक प्रमुख रणनीतिक साझेदार है और दोनों देशों के बीच रक्षा क्षेत्र में गहरे ऐतिहासिक और मित्रतापूर्ण संबंध हैं। भारत और ओमान कई क्षेत्रों में सहयोग कर रहे हैं।

रक्षा विशेषज्ञों के अनुसार, आने वाले वर्षों में दोनों देशों की सेनाओं के बीच संयुक्त प्रशिक्षण अभ्यासों की आवृत्ति में वृद्धि होगी। साथ ही, सैन्य शिक्षा और अनुभव साझा करने के नए प्लेटफार्म विकसित किए जाएंगे।

इसके अलावा, रक्षा प्रौद्योगिकी और आपसी समन्वय के नए क्षेत्रों में भी सहयोग को प्रोत्साहित किया जाएगा। भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान के बीच यह बैठक सैन्य कूटनीति को आगे बढ़ाने और भारत-ओमान रक्षा सहयोग को और मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुई है। इसने दोनों सेनाओं के बीच विश्वास, समझ और सहयोग की नई नींव रखी है, जो आने वाले समय में क्षेत्रीय सुरक्षा और स्थिरता को और सुदृढ़ करेगी।

Point of View

यह वार्ता भारत और ओमान के बीच रक्षा सहयोग को मजबूती प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इस प्रकार के संवाद न केवल द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करते हैं, बल्कि क्षेत्रीय सुरक्षा की दिशा में भी महत्वपूर्ण योगदान देते हैं।
NationPress
23/10/2025

Frequently Asked Questions

भारतीय सेना और रॉयल आर्मी ऑफ ओमान के बीच वार्ता का मुख्य उद्देश्य क्या था?
इस वार्ता का मुख्य उद्देश्य भारत और ओमान के बीच द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को मजबूत और विस्तृत करना था।
क्या इस वार्ता से रक्षा सहयोग में वृद्धि होगी?
हां, इस वार्ता से दोनों देशों की सेनाओं के बीच संयुक्त प्रशिक्षण अभ्यासों और अन्य सहयोग के क्षेत्रों में वृद्धि होगी।
क्या ओमान भारत का रणनीतिक साझेदार है?
जी हां, ओमान भारतीय सागर क्षेत्र में भारत का एक प्रमुख रणनीतिक साझेदार है।