क्या घाटशिला उपचुनाव में विपक्ष दर्जनों मुख्यमंत्रियों को उतार दे, तब भी झारखंड का मुख्यमंत्री भारी पड़ेगा? : हेमंत सोरेन

सारांश
Key Takeaways
- हेमंत सोरेन का आत्मविश्वास मजबूत है।
- विपक्ष कई मुख्यमंत्रियों को उतारने की योजना बना रहा है।
- जनता की शक्ति चुनाव की कुंजी है।
- सोमेश सोरेन ने अपने बाबा के सपनों को पूरा करने का वादा किया।
- घाटशिला का उपचुनाव महत्वपूर्ण है।
घाटशिला, 17 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने यह कहा है कि राज्य की घाटशिला विधानसभा सीट पर चल रहे उपचुनाव में झारखंड मुक्ति मोर्चा के प्रत्याशी पिछले चुनाव की तुलना में दोगुने मतों के अंतर से विजय प्राप्त करेंगे।
शुक्रवार को पार्टी प्रत्याशी सोमेश सोरेन के नामांकन के बाद घाटशिला के दाहीगोड़ा सर्कस मैदान में आयोजित विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, “हमारा विपक्ष उपचुनाव में दर्जनों मुख्यमंत्रियों को प्रचार में लगाएगा, लेकिन मैं उन्हें कहना चाहता हूं कि वे दो दर्जन मुख्यमंत्री भी उतार देंगे, तब भी झारखंड का मुख्यमंत्री उन पर भारी पड़ेगा।”
हेमंत सोरेन ने कहा, “झारखंड का मुख्यमंत्री मैं नहीं, बल्कि झारखंड की जनता है। उसकी ताकत ही मेरी ताकत है। इसी ताकत और विश्वास की बदौलत मैं झामुमो प्रत्याशी की ऐतिहासिक जीत को लेकर आश्वस्त हूं।”
सोरेन ने कहा कि जनता की शक्ति से ही वे फिरकापरस्त ताकतों से लड़ते आए हैं। उन्होंने कहा कि विपक्षी नेता चुनाव प्रचार के दौरान जुबानी गोलाबारी करेंगे, लेकिन हम उन्हें ऐसा जवाब देंगे कि वे जहां से आए हैं, वहां से बहुत दूर चले जाएंगे।
सोरेन ने पिछले साल जेल जाने के घटनाक्रम की चर्चा करते हुए कहा कि पिछली बार विपक्ष ने साजिश रचकर उन्हें अंदर भेजा था, मगर जनता के विश्वास ने उन्हें फिर मजबूती प्रदान की।
जनसभा को संबोधित करते हुए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष केशव महतो कमलेश ने कहा कि दिवंगत रामदास सोरेन ने अपने कार्यकाल में शिक्षा और विकास के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य किए थे। उनके कार्यों को गति देने के लिए इंडिया गठबंधन ने उनके पुत्र को मैदान में उतारा है। उन्होंने कहा कि यदि कार्यकर्ता अपने-अपने बूथ पर मजबूती से डटे रहे, तो जीत निश्चित है।
झामुमो प्रत्याशी सोमेश सोरेन ने लोगों से अपील करते हुए कहा, “जैसे आपने मेरे बाबा को अपना आशीर्वाद दिया था, वैसे ही इस उपचुनाव में मुझे भी आशीर्वाद दें। मैं वादा करता हूं कि बाबा के अधूरे सपनों को पूरा करूंगा।”
उन्होंने कहा कि उनके पिता चाहते थे कि विभूति भूषण बंद्योपाध्याय की यह धरती शिक्षा का केंद्र बने, और वे उसी सपने को साकार करने के लिए चुनाव मैदान में हैं।
नामांकन सभा में पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय, परिवहन मंत्री दीपक बिरुआ, सीपीआई के राज्य सचिव महेंद्र पाठक समेत इंडिया गठबंधन के कई वरिष्ठ नेता मौजूद रहे।