क्या स्वामित्व योजना के अंतर्गत हर घर या प्लॉट के लिए प्रॉपर्टी कार्ड बनेंगे?
सारांश
Key Takeaways
- ड्रोन सर्वेक्षण से संपत्ति स्वामित्व अभिलेखों का अद्यतन होगा।
- हर घर के लिए प्रॉपर्टी कार्ड जारी किया जाएगा।
- यह प्रक्रिया जमीन से जुड़े विवादों को समाप्त करने में मदद करेगी।
- ग्रामीणों को कानूनी और वित्तीय सुरक्षा मिलेगी।
- सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे पहुंच सकेगा।
नई दिल्ली, 19 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के गांवों में स्थित क्षेत्रों की पहचान, स्वामित्व और दस्तावेजीकरण से जुड़ी समस्याओं को सुलझाने के लिए दिल्ली सरकार ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। इस पहल के अंतर्गत, दिल्ली सरकार संपत्ति स्वामित्व अभिलेखों को अद्यतन करने के लिए ड्रोन-सहायता प्राप्त सर्वेक्षण करवा रही है।
मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने शुक्रवार को इस बारे में जानकारी साझा करते हुए बताया कि यह पहल न केवल भूमि प्रबंधन प्रणाली को मजबूत करेगी, बल्कि ग्रामीणों को स्वामित्व का कानूनी प्रमाण और वित्तीय सुरक्षा प्रदान करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। 'आबादी देह' का अर्थ है 'गांव का बसा हुआ क्षेत्र', जिसमें ग्रामीण आवास, खलिहान, गौशालाएं और अन्य सहायक संरचनाएं शामिल हैं।
मुख्यमंत्री ने बताया कि राजस्व विभाग ने अप्रैल 2022 में सर्वे ऑफ इंडिया के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए थे, जिसके तहत दिल्ली के 48 ग्रामीण गांवों में केंद्र सरकार की स्वामित्व योजना लागू की जाएगी।
उन्होंने कहा कि अब तक 31 गांवों में ड्रोन सर्वेक्षण पूरा हो चुका है और 25 गांवों के 'मैप 2.0' का सत्यापन करके सर्वे ऑफ इंडिया को भूमि पार्सल मानचित्र और भू-आधारित पहचान संख्या जारी करने के लिए प्रस्तुत किया गया है।
सीएम रेखा गुप्ता ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर जानकारी साझा करते हुए कहा कि दिल्ली सरकार गांवों में आबादी देह भूमि का सर्वेक्षण शुरू करने जा रही है। इसका उद्देश्य है कि गांव में जहां आबादी बसी है, वहां के घर, गलियां और इलाके सही तरीके से चिन्हित हों और उनका पूरा रिकॉर्ड ऑनलाइन उपलब्ध हो।
उन्होंने कहा कि इस सर्वेक्षण में ड्रोन और एरियल मैपिंग का उपयोग किया जाएगा। इसके बाद अधिकारी मौके पर जाकर जांच करेंगे ताकि नक्शों में दिखाई गई सीमाएं जमीन की वास्तविक स्थिति से मेल खाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वामित्व योजना के अंतर्गत हर घर या प्लॉट के लिए प्रॉपर्टी कार्ड बनाया जाएगा। यह कार्ड मालिकाना हक का पक्का प्रमाण होगा, जिससे वर्षों से चले आ रहे जमीन से जुड़े विवाद समाप्त होंगे।
उन्होंने आगे बताया कि प्रॉपर्टी कार्ड मिलने से बैंक से लोन लेना आसान होगा और सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे मिलेगा। साथ ही, सरकार गांवों में सड़क, पानी, नाली और बिजली जैसी सुविधाओं को बेहतर तरीके से लागू कर सकेगी। यह पहल ग्रामीणों के जीवन में भरोसा, स्थिरता और विकास लाने की दिशा में एक मजबूत कदम है।