क्या कानपुर की सड़कों पर कुत्ते नहीं भटकेंगे? नगर निगम ने शुरू किए 55 डॉग फीडिंग सेंटर

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क्या कानपुर की सड़कों पर कुत्ते नहीं भटकेंगे? नगर निगम ने शुरू किए 55 डॉग फीडिंग सेंटर

सारांश

कानपुर नगर निगम ने शहर में लावारिस कुत्तों की समस्या को सुलझाने के लिए 55 डॉग फीडिंग सेंटर की शुरुआत की है। यह पहल न केवल कुत्तों को भोजन उपलब्ध कराएगी, बल्कि शहरवासियों की सुरक्षा को भी सुनिश्चित करेगी।

Key Takeaways

  • कानपुर नगर निगम ने 55 डॉग फीडिंग सेंटर खोले हैं।
  • इन सेंटरों पर लावारिस कुत्तों को नियमित भोजन मिलेगा।
  • इससे कुत्तों के स्वास्थ्य में सुधार होगा।
  • शहरवासियों की सुरक्षा सुनिश्चित होगी।
  • यह पहल पशु कल्याण के लिए महत्वपूर्ण है।

कानपुर, 19 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। उत्तर प्रदेश के कानपुर नगर निगम ने शहरवासियों को कुत्तों के आतंक से राहत देने का एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। लावारिस कुत्तों की बढ़ती संख्या और कुत्ते के काटने की घटनाओं को देखते हुए अब नगर निगम ने 55 डॉग फीडिंग सेंटर स्थापित किए हैं। इन सेंटरों पर नियमित रूप से लावारिस कुत्तों को भोजन प्रदान किया जाएगा।

इस पहल से जहां नागरिकों को राहत मिलेगी, वहीं कुत्तों के लिए एक सुरक्षित व्यवस्था भी सुनिश्चित होगी। मुख्य पशु चिकित्साधिकारी ने इन सभी सेंटरों का निरीक्षण किया और आसपास के क्षेत्रों में मौजूद सभी कुत्तों का वैक्सीनेशन कराने के निर्देश भी दिए।

इससे न केवल कुत्तों के स्वास्थ्य की सुरक्षा होगी, बल्कि रेबीज जैसी बीमारियों पर भी नियंत्रण पाया जा सकेगा। नगर आयुक्त सुधीर कुमार ने जानकारी दी कि सुप्रीम कोर्ट के हालिया आदेश (22 अगस्त 2025) और पशु जन्म नियंत्रण (एबीसी) नियम-2023 के अनुपालन में इन डॉग फीडिंग सेंटरों की शुरुआत की गई है।

कानपुर नगर निगम का मानना है कि जब कुत्तों को नियमित रूप से भोजन प्राप्त होगा, तो वे गलियों और सड़कों पर खाने की तलाश में नहीं भटकेंगे। इससे बच्चों, महिलाओं और बुजुर्गों पर हमलों की घटनाओं में कमी आएगी और लोगों का डर भी कम होगा। डॉग फीडिंग सेंटरों को भीड़-भाड़ से दूर क्षेत्रों में स्थापित किया गया है ताकि नागरिक सुरक्षित रह सकें और कुत्तों का मूवमेंट नियंत्रित रहे।

इस पहल की सराहना शहर के डॉग लवर्स ने भी की है। उनका कहना है कि इस तरह के कदम से इंसानों और जानवरों के बीच संघर्ष को कम किया जा सकेगा। कुत्तों को भोजन की कमी का सामना नहीं करना पड़ेगा और लोग भी शांति से रह सकेंगे।

कानपुर जैसे बड़े शहर में जहां कुत्तों की संख्या लगातार बढ़ रही है, इस कदम को एक संतुलित समाधान माना जा रहा है। यह पहल न केवल इंसानों की सुरक्षा सुनिश्चित करेगी, बल्कि यह पशु कल्याण की दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है।

Point of View

बल्कि यह मानव सुरक्षा के लिए भी अत्यंत आवश्यक है। जब हम जानवरों के प्रति सहानुभूति दिखाते हैं, तो हम एक स्वस्थ और सुरक्षित समाज की दिशा में कदम बढ़ाते हैं। ऐसे कदमों की आवश्यकता आज के समय में और भी बढ़ गई है।
NationPress
19/09/2025

Frequently Asked Questions

डॉग फीडिंग सेंटर क्या हैं?
डॉग फीडिंग सेंटर वे स्थान हैं जहां लावारिस कुत्तों को नियमित रूप से भोजन उपलब्ध कराया जाएगा।
क्यों आवश्यक हैं डॉग फीडिंग सेंटर?
ये सेंटर कुत्तों की संख्या को नियंत्रित करने और शहरवासियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक हैं।
यह पहल कब शुरू हुई?
यह पहल कानपुर नगर निगम द्वारा हाल ही में शुरू की गई है।
इससे क्या लाभ होगा?
इससे कुत्तों के स्वास्थ्य में सुधार होगा और हमलों की घटनाओं में कमी आएगी।
क्या यह पहल पशु कल्याण के लिए भी महत्वपूर्ण है?
जी हां, यह पहल पशु कल्याण की दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।