क्या मीनाताई ठाकरे की प्रतिमा पर रंग फेंकने का आरोपी 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में है?

सारांश
Key Takeaways
- उपेंद्र पावस्कर को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेजा गया।
- प्रतिमा पर रंग फेंकने की घटना ने राजनीतिक और सामाजिक अशांति फैला दी है।
- इस मामले की जांच आवश्यक है।
- कोर्ट ने पुलिस की हिरासत की मांग खारिज कर दी।
- आगे की कानूनी कार्रवाई आरोपी की मानसिक स्वास्थ्य रिपोर्ट के बाद होगी।
मुंबई, 20 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। मुंबई के दादर में स्थित शिवाजी पार्क में दिवंगत बालासाहेब ठाकरे की पत्नी मीनाताई ठाकरे की प्रतिमा पर रंग फेंकने के आरोपी उपेंद्र पावस्कर को शनिवार को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेजा गया। इससे पहले उसे दो दिनों की पुलिस हिरासत में रखा गया था।
कोर्ट में सरकारी वकील ने कहा कि यह जानना आवश्यक है कि प्रतिमा पर रंग किसके कहने पर डाला गया। क्या वह किसी के निर्देश पर कार्य कर रहा था? जिस प्रतिमा पर रंग फेंका गया है, वह महाराष्ट्र में श्रद्धा का प्रतीक है। आखिर इसका उद्देश्य क्या था? इसकी गहन जाँच आवश्यक है। सरकारी वकील ने आरोपी से पूछताछ के लिए दो और दिन की पुलिस हिरासत की मांग की।
सुनवाई के दौरान सरकारी वकील ने कहा कि यह पता लगाना महत्वपूर्ण है कि किसने रंग फेंकने के लिए उकसाया। उन्होंने बताया कि मीनाताई ठाकरे को महाराष्ट्र में देवी के रूप में पूजा जाता है, इसलिए आरोपी के इरादे और घटना के पीछे के कारणों का पता लगाना बेहद महत्वपूर्ण है।
पुलिस ने आगे की पूछताछ के लिए आरोपी की हिरासत बढ़ाने का अनुरोध किया। वहीं, आरोपी के वकील ने यह दलील दी कि पहले से ही पूछताछ हो चुकी है, इसलिए अब पुलिस हिरासत की आवश्यकता नहीं है।
सुनवाई के दौरान कोर्ट ने पूछा कि क्या इस मामले में कोई गवाह है? क्या घटना के समय किसी ने इसे देखा या आवाज उठाई? पुलिस ने उत्तर दिया, "नहीं, कोई आई गवाह नहीं है।" इसके बाद कोर्ट ने पुलिस की मांग को खारिज करते हुए आरोपी को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया।
ज्ञात रहे कि इस घटना ने मुंबई में राजनीतिक और सामाजिक अशांति का माहौल बना दिया है। मीनाताई ठाकरे की प्रतिमा पर रंग फेंकने की घटना से स्थानीय लोगों में भारी आक्रोश है। आने वाले दिनों में आरोपी की मानसिक स्वास्थ्य रिपोर्ट और आगे की कानूनी कार्रवाई पर ध्यान देने की आवश्यकता होगी।