क्या आप जानते हैं मोहम्मद अजीज की मखमली आवाज का जादू?

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क्या आप जानते हैं मोहम्मद अजीज की मखमली आवाज का जादू?

सारांश

मोहम्मद अजीज, जिन्होंने हिंदी सिनेमा में अपनी अद्भुत आवाज से सभी का दिल जीता, उनकी जयंती पर हम याद करते हैं उनके योगदान को। उनकी संगीत यात्रा और अद्वितीय गाने आज भी लोगों के दिलों में जिंदा हैं। जानें उनकी जिंदगी और करियर की अनकही बातें।

Key Takeaways

  • मोहम्मद अजीज का जन्म 2 जुलाई 1954 को हुआ था।
  • उन्होंने 20,000 से अधिक गाने गाए।
  • उनकी आवाज की विशेषता सातवें सुर में गाने की क्षमता थी।
  • उनका सबसे प्रसिद्ध गाना 'मर्द तांगेवाला' था।
  • उनकी बेटी सना अजीज भी गायिका हैं।

नई दिल्ली, 1 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। हिंदी सिनेमा के स्वर्णिम युग में अपनी अद्भुत आवाज से लाखों दिलों पर राज करने वाले मोहम्मद अजीज की जयंती 2 जुलाई को मनाई जाएगी। 2 जुलाई 1954 को कोलकाता के गुमा में जन्मे सईद मोहम्मद अजीज-उल-नबी ने अपनी गायकी से न केवल हिंदी सिनेमा, बल्कि उड़िया और बंगाली सिनेमा में भी अमिट छाप छोड़ी। अपने करीबी लोगों के बीच प्यार से ‘मुन्ना’ के नाम से मशहूर मोहम्मद अजीज की मखमली और ऊंचे सुरों वाली आवाज ही उनकी पहचान बनी।

मोहम्मद अजीज को बचपन से ही संगीत में रुचि थी और वे मोहम्मद रफी के बड़े प्रशंसक थे। रेडियो पर रफी साहब के गाने सुनते हुए वे उन्हें गुनगुनाते थे और उनके अंदाज को अपनाने की कोशिश करते थे। कोलकाता के एक रेस्तरां में गायक के रूप में अपने करियर की शुरुआत करने वाले अजीज ने मेहनत और लगन से संगीत की दुनिया में कदम रखा। उनकी आवाज की मिठास और सातवें सुर में गाने की क्षमता ने उन्हें जल्दी ही खास पहचान दिलाई।

मोहम्मद अजीज ने अपने फिल्मी करियर की शुरुआत बंगाली फिल्म ‘ज्योति’ से की। इसके बाद 1984 में वे मुंबई आए और हिंदी सिनेमा में अपनी पहचान बनाई। उनकी पहली हिंदी फिल्म 1984 में आई ‘अंबर’ थी, लेकिन असली पहचान अनु मलिक के संगीत निर्देशन में फिल्म ‘मर्द’ (1985) के गाने ‘मर्द तांगेवाला’ से मिली। इस गाने ने उन्हें रातोंरात मशहूर कर दिया। अजीज की आवाज का जादू दर्शकों को दीवाना बना देता था।

लक्ष्मीकांत-प्यारेलाल के साथ उनकी जोड़ी खास तौर पर मशहूर रही, जिनके लिए उन्होंने 250 से अधिक गाने गाए। उनकी आवाज अमिताभ बच्चन, दिलीप कुमार, धर्मेंद्र, जितेंद्र, शाहरुख खान, सनी देओल, अनिल कपूर जैसे सितारों के लिए प्लेबैक सिंगिंग में ऊँचाइयों को छूती थी।

मोहम्मद अजीज ने 20,000 से अधिक गाने गाए, जो हिंदी, उड़िया, बंगाली सहित दस से अधिक भाषाओं में थे। उनकी सबसे बड़ी खासियत थी सातवें सुर में गाने की कला, जिसका उदाहरण है ऋषि कपूर और रेखा की फिल्म 'आजाद देश के गुलाम' का गाना ‘सारे शिकवे गिले भुला के कहो’। उन्हें दो बार प्लेबैक सिंगर के अवॉर्ड के लिए नॉमिनेट किया गया था, लेकिन कभी अवॉर्ड नहीं मिले। एक इंटरव्यू में उन्होंने अपने गम को साझा करते हुए कहा कि उनका करियर अच्छा चल रहा था, लेकिन वे गुमनामी के अंधेरे में चले गए और किसी ने उनकी पहचान नहीं की।

मोहम्मद अजीज का संगीत के प्रति प्रेम और सादगी उनके व्यक्तित्व का अभिन्न हिस्सा थे। 27 नवंबर 2018 को 64 वर्ष

गायक की बेटी सना अजीज भी अपने पिता के नक्शेकदम पर हैं। सना बंगाली फिल्म इंडस्ट्री में सक्रिय हैं और कई गानों को अपनी आवाज से सजाया है।

चाहे रोमांटिक गीत हों, भक्ति भजन हों या देशभक्ति गाने, अजीज की आवाज हर भाव को गहराई से व्यक्त करती थी। ‘ऐ वतन तेरे लिए’ (‘कर्मा’) जैसे गाने उनकी देशभक्ति की भावना को पर्दे पर प्रस्तुत करते हैं।

Point of View

जिन्होंने अपनी आवाज से लाखों दिलों को छू लिया। उनके गाने न केवल मनोरंजन का साधन थे, बल्कि वे भारतीय संस्कृति और भावनाओं को भी व्यक्त करते थे। आज उनकी जयंती पर, हमें उन्हें याद करने और उनके योगदान को सराहने की आवश्यकता है।
NationPress
04/08/2025

Frequently Asked Questions

मोहम्मद अजीज का जन्म कब हुआ था?
मोहम्मद अजीज का जन्म 2 जुलाई 1954 को हुआ था।
उन्होंने कितने गाने गाए हैं?
मोहम्मद अजीज ने 20,000 से अधिक गाने गाए हैं।
उनका सबसे प्रसिद्ध गाना कौन सा है?
उनका गाना 'मर्द तांगेवाला' बहुत प्रसिद्ध है।
मोहम्मद अजीज का निधन कब हुआ?
उनका निधन 27 नवंबर 2018 को हुआ।
उनकी बेटी कौन है?
उनकी बेटी सना अजीज भी गायिका हैं।