क्या राहुल गांधी के बयान पर गिरिराज सिंह का आक्रोश उचित है?

सारांश
Key Takeaways
- राहुल गांधी का बयान राजनीतिक हलचल का कारण बन सकता है।
- गिरिराज सिंह ने राजनीति में संयम की आवश्यकता बताई।
- प्रधानमंत्री मोदी का गरीबों के प्रति समर्पण को सराहा गया।
पटना, 25 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी द्वारा 'हाइड्रोजन बम' फोड़ने वाले बयान पर केंद्रीय मंत्री और भाजपा के नेता गिरिराज सिंह भड़क उठे। उन्होंने कहा कि वे अर्बन नक्सल की दिशा में बढ़ रहे हैं।
बिहार की राजधानी पटना में मीडिया से बातचीत करते हुए उन्होंने स्पष्ट किया कि राजनीति में हाइड्रोजन और न्यूक्लियर बम का कोई स्थान नहीं होता। राजनीति का मतलब है सामाजिक सरोकार और लोकतांत्रिक व्यवस्था, न कि आग लगाना। ऐसा लगता है कि वे देश में गृह युद्ध करवाना चाहते हैं।
उन्होंने आगे कहा, "यदि मैं उसी प्रकार की भाषा बोलूं, जो राहुल गांधी बोल रहे हैं, तो उन्हें बुरा लगेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर उनका जो रवैया है, वह इस हद तक है कि वे आठ महीने तक घर से नहीं निकल सकते। पीएम मोदी पर 140 करोड़ लोगों का भरोसा है और वे देश के प्रधानमंत्री हैं। परंतु, यह कहा जाता है कि राहुल गांधी तो नेपो किड हैं।"
गिरिराज सिंह ने कहा कि अगर राहुल गांधी सामान्य परिवार में पैदा होते तो लोग उन्हें गांव और मोहल्ले में नहीं पहचानते। पीएम नरेंद्र मोदी गरीब परिवार से हैं और गरीबों के लिए काम कर रहे हैं। वे विश्व के सबसे बड़े नेता हैं और देश का अपमान सहन नहीं कर सकते, जबकि राहुल गांधी पूरी दुनिया में जाकर भारत का अपमान करते हैं।
गिरिराज सिंह ने यह भी कहा कि अगर राहुल गांधी बिहार आएं, तो उन्हें बिहार के अपमान करने वाले नेताओं को साथ लाना चाहिए। रेवंत रेड्डी और स्टालिन जैसे नेताओं को लेकर आए हैं। कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के एक बयान पर तंज कसते हुए उन्होंने कहा कि वे कांग्रेस के स्टांप हैं। कांग्रेस का कोई वजूद नहीं है। उन्होंने प्रियंका गांधी के बिहार दौरे को लेकर कहा कि कोई भी आए, बिहार में कोई अंतर नहीं पड़ेगा।