क्या उत्तराखंड के पिथौरागढ़ सड़क हादसे पर पीएम मोदी ने सहायता राशि का ऐलान किया?

सारांश
Key Takeaways
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आर्थिक सहायता की घोषणा की है।
- उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में सड़क हादसा हुआ।
- घायलों को अस्पताल भेजा गया है।
- मुख्यमंत्री धामी ने शोक प्रकट किया।
- हादसे के कारणों की जांच की जा रही है।
देहरादून, 16 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले में एक भयानक सड़क हादसे ने पूरे देश को हिलाकर रख दिया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस दुखद घटना पर शोक प्रकट करते हुए मृतकों के परिजनों के लिए प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से 2-2 लाख रुपए और घायलों के लिए 50,000 रुपए की आर्थिक सहायता की घोषणा की है。
पीएमओ ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर प्रधानमंत्री मोदी के हवाले से लिखा, "उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में सड़क दुर्घटना से हुई जान-माल की हानि से दुखी हूं। इस दुर्घटना में अपने प्रियजनों को खोने वालों के प्रति संवेदना। घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं। प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से प्रत्येक मृतक के परिजनों को 2 लाख रुपए की अनुग्रह राशि दी जाएगी। घायलों को 50,000 रुपए दिए जाएंगे।"
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भी इस हादसे पर गहरा दुख जताते हुए पीएमओ के पोस्ट को रीपोस्ट करते हुए लिखा, "पिथौरागढ़ सड़क दुर्घटना पर पीएम मोदी द्वारा व्यक्त की गई संवेदना एवं प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से प्रदान की गई आर्थिक सहायता से शोकाकुल परिजनों को इस कठिन समय में संबल मिलेगा। प्रदेश सरकार द्वारा भी मृतकों के परिजनों को 2-2 लाख एवं घायलों को 50,000 की सहायता दी जाएगी। हमारी सरकार मृतकों के परिजनों के साथ मजबूती से खड़ी है और घायलों को हर संभव सहायता प्रदान करने हेतु प्रतिबद्ध है।"
पिथौरागढ़ जिले के मुवानी क्षेत्र में मंगलवार को एक दर्दनाक सड़क हादसा हुआ, जहां मुवानी से बोकटा जा रही मैक्स जीप 150 मीटर गहरी खाई में गिर गई। इस गाड़ी में 13 लोग सवार थे, जिनमें से 8 की मौके पर ही मृत्यु हो गई। वहीं, 3 लोग गंभीर रूप से घायल हैं।
जानकारी के अनुसार, हादसा शुनी पुल के पास हुआ। यह घटना इतनी भयावह थी कि वाहन के परखच्चे उड़ गए थे। घायलों को खाई से निकालकर एंबुलेंस के जरिए नजदीकी अस्पताल भेजा गया। गाड़ी के खाई में गिरने के कारणों की जांच की जा रही है। सड़क की खराब स्थिति और तेज रफ्तार को हादसे के प्रमुख कारण माना जा रहा है।