क्या बिहार में एसआईआर की वजह से पारदर्शी मतदाता सूची से चुनाव हो रहे हैं? - जयवीर सिंह

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क्या बिहार में एसआईआर की वजह से पारदर्शी मतदाता सूची से चुनाव हो रहे हैं? - जयवीर सिंह

सारांश

लखनऊ में जयवीर सिंह ने एसआईआर के दूसरे चरण का स्वागत किया है। उन्होंने बिहार में पारदर्शी मतदाता सूची से चुनाव की प्रक्रिया को सराहा। यह कदम चुनाव में पारदर्शिता और सटीकता लाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। जानिए इस मुद्दे पर उनके विचार और विपक्ष के आरोपों का क्या है जवाब।

Key Takeaways

  • एसआईआर से पारदर्शी मतदाता सूची सुनिश्चित होगी।
  • बिहार में चुनाव प्रक्रिया में सुधार हो रहा है।
  • विपक्ष के आरोपों का निराधार होना।
  • महागठबंधन में एकता की कमी।
  • सभी राज्यों में एसआईआर लागू होने की संभावना।

लखनऊ, 28 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। चुनाव आयोग ने एसआईआर के दूसरे चरण की घोषणा की है, जिसे उत्तर प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री जयवीर सिंह ने सराहा है। उन्होंने कहा कि बिहार में एसआईआर के माध्यम से ही पारदर्शी मतदाता सूची से चुनाव संचालित हो रहे हैं।

कैबिनेट मंत्री जयवीर सिंह ने कहा, "हम इस निर्णय का स्वागत करते हैं क्योंकि इससे एक पारदर्शी और सही मतदाता सूची सुनिश्चित होगी, जिसमें कोई भी योग्य मतदाता छूट नहीं जाएगा और कोई भी फर्जी वोट नहीं रहेगा। विपक्ष ने इस मुद्दे को उठाया था। इन मांगों पर कार्रवाई करते हुए, भारत के चुनाव आयोग ने बिहार में इस प्रक्रिया को लागू किया। जब यह प्रक्रिया बिहार में शुरू हुई, तो इंडी गठबंधन ने निराधार आरोप लगाए और इसे 'वोट चोरी' कहा।"

उन्होंने आगे कहा कि जिस तरह से बिहार में सही चुनाव हो रहे हैं, आने वाले दिनों में एसआईआर लागू होने पर हर जगह चुनाव सही होंगे। सभी राज्यों में फर्जी वोट देने वाले गायब हो जाएंगे।

सपा सांसद डिंपल यादव के एसआईआर पर झूठ फैलाने वाले बयान पर जयवीर सिंह ने कहा कि जो लोग होते हैं, उनकी सोच भी वैसी ही होती है। ये वही लोग हैं जो पारदर्शी मतदान में विश्वास नहीं रखते और देश में झूठ फैला रहे हैं।

समाजवादी पार्टी पर निशाना साधते हुए मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि एक समय था जब इनके राज में मैनपुरी में चुनाव हुए थे। वहां इतनी गड़बड़ी हुई कि चुनाव आयोग ने पूरे क्षेत्र का लोकसभा चुनाव निरस्त कर दिया था। एक ऐसा भी दौर था जब डिंपल यादव कन्नौज से निर्विरोध चुनाव जीती थीं और किसी को नामांकन भी नहीं करने दिया गया था।

उन्होंने कहा कि महागठबंधन में एकता की कमी है, प्रत्येक पार्टी अपने नेता को जननायक बता रही है। कोई एक-दूसरे की बात सुनने को तैयार नहीं है। जननायक कौन होता है, यह तो जनता तय करती है, लेकिन लोग यहां खुद ही हर चीज का चुनाव कर रहे हैं।

Point of View

यह स्पष्ट है कि एसआईआर प्रक्रिया चुनावों में पारदर्शिता लाने का प्रयास है। हालांकि, विपक्षी दलों के आरोपों पर ध्यान देने की आवश्यकता है। ऐसे निर्णयों का प्रभाव चुनावी प्रक्रिया पर पड़ता है, और हमें इससे जुड़े सभी पहलुओं पर ध्यान देना चाहिए।
NationPress
28/10/2025

Frequently Asked Questions

एसआईआर क्या है?
एसआईआर एक प्रक्रिया है जो चुनावों में पारदर्शिता और सटीकता सुनिश्चित करने के लिए लागू की जाती है।
जयवीर सिंह ने एसआईआर के बारे में क्या कहा?
जयवीर सिंह ने कहा कि एसआईआर से एक पारदर्शी और सही मतदाता सूची सुनिश्चित होगी।
इंडी गठबंधन पर जयवीर सिंह का क्या बयान था?
उन्होंने इंडी गठबंधन के आरोपों को निराधार बताया और कहा कि यह चुनावों में पारदर्शिता लाने की दिशा में एक कदम है।
महागठबंधन में एकता के बारे में जयवीर सिंह का क्या कहना था?
उन्होंने कहा कि महागठबंधन में एकता की कमी है और प्रत्येक पार्टी अपने नेता को जननायक बता रही है।
क्या यह प्रक्रिया अन्य राज्यों में भी लागू होगी?
जयवीर सिंह ने कहा कि आने वाले दिनों में सभी राज्यों में यह प्रक्रिया लागू होगी।