क्या गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे की राइडिंग क्वालिटी और कंफर्ट वर्ल्ड क्लास है?

सारांश
Key Takeaways
- गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे की राइडिंग क्वालिटी विश्वस्तरीय है।
- यह योगी आदित्यनाथ के विजन का हिस्सा है।
- स्विट्ज़रलैंड की तकनीक से किया गया परीक्षण।
- गंगा, बुंदेलखंड, आगरा-लखनऊ और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे में सुधार होगा।
लखनऊ/गोरखपुर, 18 जून (राष्ट्र प्रेस)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दृष्टिकोण से पूर्वी उत्तर प्रदेश को तेज़ी और यातायात की आसानी प्रदान करने वाला गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे की राइडिंग क्वालिटी (सवारी की गुणवत्ता) और राइडिंग कंफर्ट (आराम) वास्तव में विश्वस्तरीय है। यह जानकारी स्विट्जरलैंड की ईटीएच यूनिवर्सिटी की तकनीक और उपकरणों द्वारा किए गए परीक्षण में प्रमाणित हुई है।
इस तकनीक का उपयोग गंगा एक्सप्रेसवे के निर्माण में किया जा रहा है और भविष्य में बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे, और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे की राइडिंग क्वालिटी और राइडिंग कंफर्ट में सुधार के लिए भी इसे लागू किया जाएगा।
उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीडा) ने एक्सप्रेसवे की राइडिंग क्वालिटी और कंफर्ट में सुधार के लिए एक अभिनव पहल की है।
इसके लिए वाइब्रेशन और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित ईटीएच यूनिवर्सिटी, ज्यूरिख, स्विट्ज़रलैंड और इसी यूनिवर्सिटी की स्पिन ऑफ कंपनी आरटीडीटी लैबोरेटरी एजी की तकनीक का उपयोग किया गया है।
इस तकनीक में वाइब्रेशन टेक्नोलॉजी और एक्सीलरोमीटर पर आधारित 7 सेंसर (4 राइडिंग क्वालिटी और 3 राइडिंग मोशन के लिए), एस मोशन सेंसर और डेटा संग्रहण के उपकरण इनोवा वाहन में लगाए गए हैं।
यूपीडा ने इस तकनीक से प्रदेश के सभी एक्सप्रेसवे के हर लेन की राइडिंग क्वालिटी और कंफर्ट सुनिश्चित करने के लिए व्यापक जांच और सुधारात्मक उपाय करने का संकल्प लिया है।
गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे का निर्माण पूरा हो चुका है और चार लेन की जांच के बाद प्राप्त आंकड़ों के आधार पर राइडिंग क्वालिटी और कंफर्ट में सुधार किया गया है, जिससे इसे विश्वस्तरीय बना दिया गया है।
यूपीडा स्विट्ज़रलैंड की इस तकनीक का उपयोग गंगा एक्सप्रेसवे की सिक्स लेन में कर रहा है। इसके साथ ही बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे में भी आवश्यक सुधार के लिए यह तकनीक लागू की जाएगी।