क्या खाने के बाद ये तीन योगासन करने से नींद और पाचन में सुधार होगा?

सारांश
Key Takeaways
- योगासन तनाव को कम करते हैं।
- वज्रासन पाचन में सुधार करता है।
- यष्टिकासन रीढ़ को खींचता है।
- भद्रासन मन को शांति देता है।
- इन आसनों से नींद की गुणवत्ता बढ़ती है।
नई दिल्ली, 11 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में तनाव और चिंता जैसी समस्याएं आम हो गई हैं। इससे नींद न आना, सोते समय बेचैनी, मन का भटकना और आराम की कमी जैसी दिक्कतें बढ़ गई हैं। राहत पाने के लिए कई लोग महंगे इलाज और दवाइयों का सहारा लेते हैं, लेकिन इसका कोई खास असर नहीं होता। आयुष मंत्रालय के अनुसार, योगासन एक ऐसी प्राकृतिक विधि है जो इन समस्याओं को दूर करने में सहायक हो सकती है। खास बात यह है कि कुछ योग आसन आपको न केवल गहरी नींद प्रदान करेंगे, बल्कि दिनभर के तनाव को भी कम करेंगे।
वज्रासन: यह आसन खाने के बाद किया जा सकता है। इससे रक्त संचार बेहतर होता है, जिससे पाचन में सुधार होता है। जब पाचन सही रहता है, तो एसिडिटी और कब्ज जैसी समस्याएं कम होती हैं, जो अक्सर नींद में बाधा डालती हैं। खाने के बाद यदि आप पांच से दस मिनट तक वज्रासन में बैठते हैं, तो पेट को आराम मिलता है और नींद जल्दी आती है। वज्रासन करने का तरीका सरल है: घुटनों के बल बैठें, पैर की उंगलियां एक-दूसरे को छूती रहें और एड़ियां अलग रखें। शरीर को सीधा रखते हुए आंखें बंद करें और सांस पर ध्यान केंद्रित करें। यह आसन पीठ के निचले हिस्से के दर्द को भी कम करता है, जो लंबे समय तक बैठने के कारण होता है। इससे नींद की गुणवत्ता में सुधार होता है और मन भी शांत होता है।
यष्टिकासन: यह आसन शरीर और मन दोनों को आराम देने वाला है। यह रीढ़ की हड्डी को खींचता है और पीठ दर्द को कम करता है। तनाव और मांसपेशियों की जकड़न को दूर करके, यह आसन बेचैनी को समाप्त करता है, जिससे सोते समय मन शांत रहता है। इसे करने के लिए पीठ के बल लेट जाएं, पैरों को फैलाएं और हाथों को शरीर के बगल में रखें। फिर हाथों को धीरे-धीरे सिर के ऊपर फैलाएं। इस स्थिति को छह सेकंड तक बनाए रखें और फिर आराम करें। इसे चार-पांच बार दोहराएं। यह खिंचाव मांसपेशियों को रिलैक्स करता है और नींद के लिए मन को पूरी तरह तैयार करता है।
भद्रासन: यह आसन मन को शांति देने में बहुत मदद करता है। इसमें आप अपने दोनों पैरों को घुटनों से मोड़कर तलवों को मिलाते हैं और घुटनों को धीरे-धीरे फर्श की ओर दबाते हैं। हाथों को पेट पर रखकर आराम से सांस लें। यह आसन न केवल निचले हिस्से में रक्त प्रवाह को बढ़ाता है, बल्कि जांघ की मांसपेशियों को भी खींचता है। इससे बेचैनी दूर होती है और मन स्थिर हो जाता है, जो नींद के लिए अत्यंत आवश्यक है।