क्या स्पेशियलिटी स्टील के लिए पीएलआई योजना का तीसरा चरण लॉन्च हुआ?

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क्या स्पेशियलिटी स्टील के लिए पीएलआई योजना का तीसरा चरण लॉन्च हुआ?

सारांश

स्पेशियलिटी स्टील के लिए पीएलआई योजना का तीसरा चरण आधिकारिक तौर पर लॉन्च किया गया है। इस योजना के अंतर्गत भारत में बड़े पैमाने पर निवेश, रोजगार के अवसर और उत्पादन की संभावनाएं हैं। जानें इस योजना के प्रमुख बिंदुओं के बारे में और कैसे यह आत्मनिर्भर भारत के दृष्टिकोण को साकार करने में मदद करेगा।

Key Takeaways

  • स्पेशियलिटी स्टील के लिए तीसरा चरण लॉन्च हुआ।
  • 43,874 करोड़ रुपए का निवेश हुआ है।
  • 30,760 नए रोजगार के अवसर बने हैं।
  • 22 उत्पाद सब-कैटेगरी को कवर किया गया है।
  • इंसेन्टिव 4 से 15 प्रतिशत तक होगा।

नई दिल्ली, 4 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। इस्पात मंत्रालय ने मंगलवार को एक महत्वपूर्ण घोषणा की, जिसमें केंद्रीय इस्पात एवं भारी उद्योग मंत्री एच.डी. कुमारस्वामी ने स्पेशियलिटी स्टील के लिए पीएलआई योजना का तीसरा चरण लॉन्च किया।

मंत्रालय के अनुसार, पीएलआई योजना के तहत अब तक 43,874 करोड़ रुपए का निवेश, 30,760 प्रत्यक्ष रोजगार और लगभग 14.3 मिलियन टन का स्पेशियलिटी स्टील का उत्पादन किया जा चुका है। इस वर्ष सितंबर तक पहले दो चरणों में भाग लेने वाली कंपनियों ने 22,973 करोड़ रुपए का निवेश किया है और 13,284 रोजगार के अवसर पैदा किए हैं।

इस्पात मंत्रालय ने पीएलआई योजना के तीसरे चरण की 6 महत्वपूर्ण विशेषताओं के बारे में बताया है।

आधिकारिक बयान के अनुसार, पीएलआई 1.2 के लिए लॉन्च दिनांक से 30 दिनों के लिए ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से आवेदन आमंत्रित किए जाएंगे।

नोटिफाइड उत्पादों के एंड-टू-एंड मैन्युफैक्चरिंग का कार्य देख रही भारत में रजिस्टर्ड कंपनियां आवेदन के लिए पात्र होंगी।

योजना का तीसरा चरण स्ट्रेटेजिक स्टील ग्रेड्स, कमर्शियल ग्रेड्स (कैटेगरी 1 और 2), कोटेड/वायर उत्पादों सहित पांच व्यापक लक्षित खंडों में 22 उत्पाद सब-कैटेगरी को कवर करता है।

इंसेन्टिव का इंक्रीमेंटल सेल्स 4 से 15 प्रतिशत तक की रेंज में होगा, जो कि उत्पाद सब-कैटेगरी और उत्पादन के वर्ष पर निर्भर करेगा।

फायदे वित्त वर्ष 2026 से अधिकतम पांच वर्ष के लिए उपलब्ध होंगे, जिसमें इंसेटिव वित्त वर्ष 27 से वितरित किए जाएंगे।

वर्तमान प्रवृत्तियों को दर्शाने के लिए मूल्य का आधार वर्ष 2019-20 से संशोधित कर 2024-25 कर दिया गया है।

मंत्रालय के अनुसार, स्पेशियलिटी स्टील के लिए पीएलआई योजना को कैबिनेट द्वारा जुलाई 2021 में मंजूरी दी गई थी। यह आत्मनिर्भर भारत के दृष्टिकोण के तहत भारत को स्टील उत्पादन में ग्लोबल हब के रूप में स्थापित करने के लक्ष्य के साथ एक महत्वपूर्ण पहल है। पीएलआई योजना के तीसरे चरण से उभरते और उन्नत स्टील उत्पादों में नए निवेश को आकर्षित करने की आशा की जा रही है। उभरते और उन्नत स्टील उत्पादों में सुपर अलॉय, सीआरजीओ, स्टेनलेस स्टील लॉन्ग और फ्लैट उत्पाद, टाइटेनियम अलॉय और कोटेड स्टील शामिल हैं।

Point of View

बल्कि रोजगार के अवसर भी प्रदान करेगी। यह आत्मनिर्भर भारत की दिशा में एक और बड़ा प्रयास है, जो देश की अर्थव्यवस्था को मजबूती प्रदान करेगा।
NationPress
04/11/2025

Frequently Asked Questions

पीएलआई योजना क्या है?
पीएलआई योजना का उद्देश्य भारत में विभिन्न उद्योगों में निवेश को बढ़ावा देना है।
स्पेशियलिटी स्टील के लिए पीएलआई योजना के फायदे क्या हैं?
इस योजना के तहत निवेश, रोजगार और उत्पादन में वृद्धि की उम्मीद है।