क्या वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अर्थशास्त्रियों के साथ पहली प्री-बजट चर्चा की?

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क्या वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अर्थशास्त्रियों के साथ पहली प्री-बजट चर्चा की?

सारांश

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने पहले बजट पूर्व संवाद में प्रमुख अर्थशास्त्रियों के साथ विचार साझा किया। यह चर्चा आर्थिक विकास और टैक्स कटौती पर केंद्रित रही। जानिए इस महत्वपूर्ण बैठक में क्या चर्चाएं हुईं और इसका व्यापार पर क्या असर होगा।

Key Takeaways

  • प्री-बजट चर्चा का आयोजन आर्थिक विकास के लिए किया गया।
  • टैक्स कटौती का लाभ अंतिम व्यक्ति तक पहुँचाने पर ध्यान दिया गया।
  • सरकार एमएसएमई के लिए लिक्विडिटी समाधान पर विचार कर रही है।
  • नई नीतियों को अंतिम मील तक लागू करने में चुनौतियाँ हैं।
  • सरकार का दृष्टिकोण उद्योग के सुझावों के प्रति सकारात्मक है।

नई दिल्ली, 10 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को केंद्रीय बजट 2026-27 के लिए देश के प्रमुख अर्थशास्त्रियों के साथ पहली बार प्री-बजट चर्चा की।

इस बैठक में मुख्य आर्थिक सलाहकार (सीईए) वी. अनंत नागेश्वरन के साथ आर्थिक मामलों का विभाग (डीईए) के कई वरिष्ठ अधिकारी और अर्थशास्त्री भी शामिल हुए।

वित्त मंत्रालय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर कहा, "केंद्रीय वित्त एवं कॉरपोरेट कार्य मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज नई दिल्ली में आगामी केंद्रीय बजट 2026-27 के संदर्भ में प्रमुख अर्थशास्त्रियों के साथ पहली बजट-पूर्व चर्चा की अध्यक्षता की।"

वित्त मंत्रालय ने आगे कहा, "बैठक में आर्थिक मामलों के विभाग (डीईए) के सचिव एवं भारत सरकार के मुख्य आर्थिक सलाहकार के अलावा डीईए के वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।"

प्री-बजट चर्चा के अंतर्गत, सरकार आगामी बजट के लिए विभिन्न उद्योग प्रतिनिधियों और अन्य भागीदारों के साथ लगातार बैठक कर रही है।

इन चर्चाओं का ध्यान व्यापार में आसानी बढ़ाने और टैक्स कटौती को अंतिम व्यक्ति तक पहुँचाने पर केंद्रित है।

पिछले महीने, पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (पीएचडीसीसीआई) के अधिकारियों ने राजस्व सचिव अरविंद श्रीवास्तव से मुलाकात की।

बैठक के बाद, पीएचडीसीसीआई के सीईओ और महासचिव डॉ. रणजीत मेहता ने कहा कि इस बैठक में अप्रत्यक्ष कर और प्रत्यक्ष कर के मुद्दों पर बातचीत हुई है। हमने व्यापार में आसानी को लेकर भी चर्चा की, जिस पर सरकार का ध्यान है।

उन्होंने आगे कहा कि उद्योग निकाय की ओर से मध्यम, लघु और सूक्ष्म उद्यम (एमएसएमई) की लिक्विडिटी समस्या को सुलझाने के लिए सरकार को सुझाव दिए गए हैं और कुल मिलाकर सुझावों को लेकर सरकार का दृष्टिकोण सकारात्मक है, जो उद्योग के लिए लाभदायक है।

पीएचडीसीसीआई के पूर्व अध्यक्ष साकेत डालमिया ने कहा कि नए कानूनों के अंतर्गत अंतिम मील तक लागू करने में कई चुनौतियाँ आ रही हैं, जिसे सरकार ने सुना और सकारात्मक प्रतिक्रिया दी।

Point of View

मैं यह मानता हूँ कि यह बैठक देश के आर्थिक भविष्य के लिए महत्वपूर्ण है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का दृष्टिकोण और उद्योग के विचारों का समावेश सरकार की नीतियों को सशक्त बना सकता है।
NationPress
10/11/2025

Frequently Asked Questions

प्री-बजट चर्चा का मुख्य उद्देश्य क्या है?
प्री-बजट चर्चा का उद्देश्य उद्योग के प्रतिनिधियों से सुझाव लेना और आगामी बजट के लिए इनपुट प्राप्त करना है।
इस बैठक में कौन-कौन शामिल हुआ?
बैठक में मुख्य आर्थिक सलाहकार, आर्थिक मामलों के विभाग के सचिव और कई वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए।