क्या ज्यादा सोने के फायदे कम नहीं? रिसर्च में दावा, मूड रहता है फ्रेश

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क्या ज्यादा सोने के फायदे कम नहीं? रिसर्च में दावा, मूड रहता है फ्रेश

सारांश

क्या आपने कभी सोचा है कि ज्यादा सोना आपके लिए फायदेमंद हो सकता है? यह लेख आपको बताएगा कि कैसे ज्यादा नींद आपके शरीर और दिमाग को तरोताजा रख सकती है और आपकी सेहत में सुधार ला सकती है। जानिए विज्ञान क्या कहता है!

Key Takeaways

  • ज्यादा नींद मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाती है।
  • इम्यून सिस्टम को मजबूत करती है।
  • हृदय स्वास्थ्य में सुधार लाती है।
  • मेटाबॉलिज्म को संतुलित रखती है।
  • नींद शरीर की मरम्मत करती है।

नई दिल्ली, 16 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। क्या आपको पता है कि ‘ज्यादा सोना’ भी किसी के लिए फायदेमंद हो सकता है? आजकल लोग कम सोने को “प्रोडक्टिव” मानते हैं, लेकिन यह जानकर आपको आश्चर्य हो सकता है कि कभी-कभी ज्यादा नींद लेना आपके शरीर और दिमाग के लिए एक वरदान हो सकता है।

वैज्ञानिक अनुसंधान बताते हैं कि थोड़ी अधिक नींद आपकी सेहत को और भी बेहतर बना सकती है। आपका दिमाग और मूड दोनों फ्रेश रहते हैं। जब आप पूरी नींद लेते हैं, तो आपका मस्तिष्क एक प्रकार से रीचार्ज होता है। हार्वर्ड मेडिकल स्कूल की रिपोर्ट के अनुसार, नींद मस्तिष्क के “डेटा प्रोसेसिंग सेंटर” को फिर से सक्रिय करती है। इससे मूड बेहतर होता है, ध्यान तेज होता है और तनाव का स्तर कम होता है।

हम सभी जानते हैं कि गहरी नींद शरीर के लिए एक सेवा प्रक्रिया है। जो लोग सोचते हैं कि आलस्य का नाम नींद है, उन्हें एक बार विचार करना चाहिए, क्योंकि यह शरीर के लिए एक प्रकार की “मरम्मत प्रक्रिया” है। नींद के दौरान निकलने वाला ह्यूमन ग्रोथ हार्मोन (एचजीएच) आपकी मांसपेशियों की मरम्मत करता है, थकावट को दूर करता है और शरीर में नई ऊर्जा का संचार करता है।

जर्नल ऑफ स्लीप रिसर्च के एक अध्ययन में पाया गया है कि आपका इम्यून सिस्टम, यानी रोग प्रतिरोधक तंत्र, नींद के दौरान सबसे ज्यादा सक्रिय होता है। जो लोग पर्याप्त नींद लेते हैं, उनका शरीर वायरस और बैक्टीरिया के खिलाफ अधिक प्रभावी रूप से लड़ता है।

कुछ अनुसंधानों के अनुसार, जब हम अच्छी नींद लेते हैं, तो हमारा ब्लड प्रेशर और हार्ट रेट सामान्य बना रहता है। इससे दिल की बीमारियों का खतरा कम होता है और दिल कहता है, “थैंक्यू!”

अगर आप बार-बार खाने की आदत से परेशान हैं, तो जरा रुकिए क्योंकि इसका एक कारण अल्प निद्रा यानी जरूरत से कम नींद लेना हो सकता है। कम नींद लेने से भूख बढ़ाने वाले हार्मोन (घ्रेलीन) का स्तर बढ़ जाता है, जिससे आपको बार-बार भूख लगती है। दूसरी ओर, अच्छी और थोड़ी ज्यादा नींद से शरीर का मेटाबॉलिज्म संतुलित रहता है, और वजन बढ़ने की संभावना कम हो जाती है।

जैसा कि कहा जाता है, हर चीज की अति खराब होती है। इसी तरह, अगर आप हर दिन 10-12 घंटे से ज्यादा सो रहे हैं और फिर भी थका हुआ महसूस कर रहे हैं, तो यह किसी हेल्थ प्रॉब्लम का संकेत हो सकता है।

डिप्रेशन, थायरॉइड, या स्लीप डिसऑर्डर जैसे कारण भी हो सकते हैं। ऐसे में डॉक्टर से परामर्श लेना आवश्यक है।

अगली बार अगर कोई आपसे ये कहे कि नींद आलस्य का दूसरा नाम है, तो तुरंत कहिएगा, “नहीं जनाब, ये तो शरीर और मन का हीलिंग प्रक्रिया है!”

Point of View

यह स्पष्ट है कि नींद की गुणवत्ता और मात्रा हमारे जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। जागरूकता बढ़ाना और लोगों को यह समझाना कि अच्छी नींद से स्वास्थ्य में सुधार हो सकता है, एक राष्ट्रीय आवश्यकता है।
NationPress
16/09/2025

Frequently Asked Questions

क्या ज्यादा सोने से सेहत पर असर पड़ता है?
हाँ, ज्यादा सोने से आपका इम्यून सिस्टम मजबूत होता है और मानसिक स्वास्थ्य में सुधार होता है।
कितनी नींद लेनी चाहिए?
आमतौर पर वयस्कों को रोजाना 7-9 घंटे की नींद लेनी चाहिए।
क्या नींद के दौरान मांसपेशियों की मरम्मत होती है?
जी हाँ, नींद के दौरान ह्यूमन ग्रोथ हार्मोन निकलता है, जो मांसपेशियों की मरम्मत करता है।
क्या नींद कम लेने से भूख बढ़ती है?
बिल्कुल, कम नींद लेने से भूख बढ़ाने वाले हार्मोन का स्तर बढ़ जाता है।
क्या हर दिन 10-12 घंटे सोना ठीक है?
नहीं, अगर आप 10-12 घंटे सो रहे हैं और थकान महसूस कर रहे हैं, तो यह स्वास्थ्य समस्या का संकेत हो सकता है।