क्या लार कई परेशानियों से निजात दिलाने में सहायक है?

सारांश
Key Takeaways
- लार
- सुबह की बासी लार का उपयोग घाव भरने में मदद करता है।
- लार आंखों की रोशनी बढ़ाने और काले घेरे मिटाने में सहायक है।
- लार मौखिक स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद है।
- नीम की दातून लार के गुणों को बढ़ा सकती है।
नई दिल्ली, 28 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। क्या आप जानते हैं कि हमारा शरीर अंदर पनप रही बीमारियों को ठीक करने की अद्भुत क्षमता रखता है? हमारे अंगों में ऐसे कुछ गुण होते हैं, जो हमें कई परेशानियों से बचा सकते हैं।
हमारी मुंह से निकलने वाली लार किसी औषधि से कम नहीं है। साधारण सी दिखने वाली लार को बनाने के लिए लाखों ग्रंथियाँ एक साथ कार्यरत होती हैं। इसका पीएच मान लगभग 8.4 होता है, जो कई समस्याओं का समाधान प्रदान करता है। लार में 18 पोषक तत्व होते हैं, जो इसे औषधीय गुणों से भरपूर बनाते हैं।
अगर आपकी आंखों की रोशनी कम है या आपको चश्मा लगाना पड़ता है, तो आप सुबह की लार का उपयोग करके अपनी आंखों की रोशनी बढ़ा सकते हैं। इसके लिए आपको सुबह की पहली लार को अपनी आंखों में लगाना होगा। यदि आपकी आंखों में धूल-मिट्टी के कारण लालिमा है, तो लार आपको इससे राहत दिला सकती है।
अगर आपके शरीर पर किसी प्रकार के दाग-धब्बे हैं या आपकी आंखों के नीचे काले घेरे हैं, तो सुबह की पहली लार धब्बे हटाने वाली क्रीम की तरह कार्य करेगी।
लार में इतने ज्यादा औषधीय गुण होते हैं कि यह शरीर के घावों को भरने की क्षमता रखती है। सुबह की बासी लार को घाव पर लगाने से वह पूरी तरह ठीक हो सकता है।
इसके अलावा, एक्जिमा, सोराइसिस, गैंगरिन और पेट संबंधी विकार भी सुबह की लार को निगलने से ठीक हो जाते हैं। अगर आपको कफ या किसी प्रकार का संक्रमण नहीं है, तो सुबह की लार को थूकने से बचना चाहिए।
आप अपनी लार को औषधि बनाए रखने के लिए नीम की दातून का उपयोग कर सकते हैं। दातून करते समय लार को थूकने से बचना चाहिए, क्योंकि यह लार मौखिक स्वास्थ्य और पेट के विकारों के लिए स्वास्थ्यवर्धक रहेगी।