क्या आतंकवाद मानवता के खिलाफ अपराध है? भारत का संकल्प समूल विनाश : तरुण चुघ

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क्या आतंकवाद मानवता के खिलाफ अपराध है? भारत का संकल्प समूल विनाश : तरुण चुघ

सारांश

आतंकवाद के खिलाफ भारत के ठोस कदम और तरुण चुघ का जोरदार संदेश। जानें कैसे भारत ने आतंकवाद को समाप्त करने के लिए अपनी नीतियों को मजबूत किया है।

Key Takeaways

  • आतंकवाद मानवता का शत्रु है।
  • भारत की जीरो टॉलरेंस नीति महत्वपूर्ण है।
  • आतंकवाद के पीड़ितों के साथ भारत खड़ा है।
  • वैश्विक एकता की आवश्यकता है।
  • आतंकवाद से संबंधित मौतों में वृद्धि चिंताजनक है।

कॉर्क/चंडीगढ़, 23 जून (राष्ट्र प्रेस)। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय महामंत्री तरुण चुघ ने सोमवार को आयरलैंड के कॉर्क स्थित अहकिस्ता स्मारक पर एयर इंडिया फ्लाइट 182 'कानिष्का' बम विस्फोट की 40वीं वर्षगांठ पर आयोजित श्रद्धांजलि समारोह में भाग लिया।

यह भारतीय शिष्टमंडल भारत सरकार के केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी के नेतृत्व में पहुंचा, जिसमें देश के पांच राज्यों के विधायक और जनप्रतिनिधि भी शामिल थे।

इस समारोह में आयरलैंड के प्रधानमंत्री मिशेल मार्टिन, कनाडा के सार्वजनिक सुरक्षा मंत्री गैरी अनंदसंगरी और अन्य गणमान्य अतिथियों ने भी भाग लिया।

इस अवसर पर तरुण चुघ ने कहा, "यह हादसा न केवल भारत के लिए, बल्कि समूची मानवता के लिए गहरा आघात था। यह हमें हमेशा याद दिलाता रहेगा कि आतंकवाद किसी एक देश या समुदाय का नहीं, बल्कि सम्पूर्ण मानवता का दुश्मन है।"

उन्होंने कहा कि भारत ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में आतंकवाद के विरुद्ध जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई है और भारत आतंकवाद के समूल नाश के लिए कटिबद्ध है। पीड़ितों के परिजनों का दर्द आज भी उतना ही जीवित है। उनकी आंखों में आज भी वही पीड़ा और आंसू हैं। हम यहां आए हैं, यह संदेश देने कि भारत उनकी पीड़ा में सहभागी है और सदैव उनके साथ खड़ा है।

इससे पहले केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक एकता की अपील की। उन्होंने कहा, "दुनिया को एकजुट होने की जरूरत है, न केवल इस तरह की शोक सभाओं में, बल्कि आतंकवाद से लड़ने के लिए सामूहिक और सक्रिय प्रयासों में भी।"

23 जून 1985 की त्रासदी को याद करते हुए केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि यह कोई दुर्घटना नहीं थी, बल्कि भारत को विभाजित करने की कोशिश करने वाले कट्टरपंथी तत्वों की ओर से जानबूझकर किया गया जघन्य कृत्य था।

उन्होंने कहा, "भारत दशकों से आतंकवाद से पीड़ित है। जम्मू-कश्मीर से लेकर पंजाब और मुंबई तक, बार-बार हमारे लोगों ने बम विस्फोटों, हत्याओं और अत्याचारों को सहा है।"

उन्होंने यह भी बताया कि 2024 में वैश्विक आतंकवाद से संबंधित मौतों में 22 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।

Point of View

यह स्पष्ट है कि आतंकवाद मानवता के लिए एक गंभीर खतरा है। भारत का संकल्प इसे समाप्त करने का है, और यह कदम न केवल हमारे देश के लिए, बल्कि समग्र विश्व के लिए महत्वपूर्ण है।
NationPress
23/06/2025

Frequently Asked Questions

आतंकवाद का भारत पर क्या प्रभाव है?
आतंकवाद ने भारत में कई जघन्य घटनाओं का कारण बना है, जिससे आर्थिक, सामाजिक और राजनीतिक स्थिरता पर असर पड़ा है।
भारत आतंकवाद के खिलाफ क्या कदम उठा रहा है?
भारत ने आतंकवाद के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति अपनाई है और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देने के लिए प्रयासरत है।