क्या बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना और उनके परिवार के सदस्यों का वोटर कार्ड ब्लॉक हो गया है?

सारांश
Key Takeaways
- हसीना और परिवार के सदस्यों का एनआईडी कार्ड ब्लॉक हुआ।
- आगामी चुनाव में वोट नहीं डाल सकेंगे।
- स्थानीय मीडिया में राजनीतिक प्रतिशोध की चर्चा।
- विदेश से वोट देने के लिए एनआईडी अनिवार्य।
- हसीना का परिवार राजनीति में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
ढाका, 18 सितंबर। बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना और उनके परिवार के कई सदस्य आगामी चुनाव में वोट नहीं डाल सकेंगे। उनके राष्ट्रीय पहचान पत्र (एनआईडी) कार्ड को ब्लॉक कर दिया गया है। यह जानकारी स्थानीय मीडिया ने दी है।
निर्वाचन आयोग (ईसी) के वरिष्ठ सचिव अख्तर अहमद ने बताया कि जिनका एनआईडी ब्लॉक है, वे विदेश से वोट नहीं डाल पाएंगे। हालांकि, यदि किसी ने मुकदमे या अन्य कारणों से देश छोड़ा है और उनका एनआईडी ब्लॉक नहीं है, तो वे वोट डाल सकते हैं।
उन्होंने स्पष्ट किया कि विदेश से वोट देने के लिए एनआईडी नंबर के साथ ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना आवश्यक है। पासपोर्ट से यह प्रक्रिया पूरी नहीं होगी। यदि किसी का एनआईडी ब्लॉक है, तो वे रजिस्टर नहीं कर सकते और इसलिए वोट नहीं डाल पाएंगे। केवल एनआईडी के साथ रजिस्टर करने वालों को यह अवसर मिलेगा।
जब उनसे पूछा गया कि क्या शेख हसीना वोट दे पाएंगी, तो उन्होंने कहा, "वह वोट नहीं दे पाएंगी, क्योंकि उनका एनआईडी ब्लॉक कर दिया गया है।"
राष्ट्रीय पहचान पंजीकरण विंग ने अपने महानिदेशक, एएसएम हुमायूं कबीर के मौखिक निर्देश के तहत हसीना और उनके परिवार के नौ सदस्यों की एनआईडी को 'लॉक' किया था।
इन सदस्यों में शेख रेहाना सिद्दीकी, सजीब वाजेद जॉय, साइमा वाजेद, शाहनाज सिद्दीकी, बुशरा सिद्दीकी, ट्यूलिप रिजवाना सिद्दीकी, अजमीरा सिद्दीकी, राडवान मुजीब सिद्दीकी और तारिक अहमद सिद्दीकी शामिल हैं।
स्थानीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, जुलाई में चुनाव आयोग ने हसीना की अवामी लीग पार्टी के चुनाव चिन्ह को अपनी वेबसाइट से हटा दिया था, जिससे पार्टी के दशकों पुराने राजनीतिक अस्तित्व को समाप्त करने का प्रयास किया गया।
12 मई को मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार ने एक राजपत्र अधिसूचना जारी कर अवामी लीग और उसके सहयोगी संगठनों की सभी गतिविधियों पर प्रतिबंध लगा दिया। यह प्रतिबंध 'आतंकवाद विरोधी अधिनियम' के अंतर्गत तब तक लागू रहेगा, जब तक कि बांग्लादेश के अंतर्राष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण (आईसीटी) में पार्टी और उसके नेताओं के खिलाफ मुकदमा पूरा नहीं हो जाता।
विश्लेषकों का मानना है कि यह ताजा घटनाक्रम हसीना और उनके परिवार के सदस्यों के खिलाफ यूनुस की नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार द्वारा राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई का विस्तार है, जिसमें अवामी लीग को राष्ट्रीय चुनावों में भाग लेने से रोकने की बड़ी योजना है।