क्या मुनव्वर खान को कुवैत से भारत वापस लाया गया?

सारांश
Key Takeaways
- सीबीआई ने मुनव्वर खान को कुवैत से भारत लाया।
- मुनव्वर खान पर जालसाजी और धोखाधड़ी के आरोप हैं।
- इंटरपोल की सहायता से कार्रवाई की गई।
- भारत में कानून प्रवर्तन एजेंसियों का समन्वय आवश्यक है।
- 130 से अधिक वांछित अपराधियों को वापस लाया गया है।
नई दिल्ली, 11 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने इंटरपोल के माध्यम से कुवैत से भगोड़े मुनव्वर खान को भारत लाने में सफलता प्राप्त की है। मुनव्वर खान जालसाजी और धोखाधड़ी के मामलों में सीबीआई का वांछित अपराधी है।
सीबीआई ने इंटरपोल और कुवैत की नेशनल सेंट्रल ब्यूरो (एनसीबी) के सहयोग से मुनव्वर खान की लोकेशन का पता लगाया। एसटीबी चेन्नई शाखा के अनुरोध पर सीबीआई ने 7 फरवरी को इंटरपोल के जरिए रेड नोटिस जारी किया। इस पर कार्रवाई करते हुए कुवैत के अधिकारियों ने मुनव्वर खान को गिरफ्तार किया और उसे भारत प्रत्यर्पित करने का निर्णय लिया गया।
सीबीआई ने जानकारी दी कि एजेंसी की अंतर्राष्ट्रीय पुलिस सहयोग इकाई (आईपीसीयू) ने विदेश मंत्रालय और एनसीबी-कुवैत के सहयोग से 11 सितंबर को वांछित मुनव्वर खान को सफलतापूर्वक भारत लाने में सफल रही। मुनव्वर खान को कुवैत पुलिस की एक टीम कुवैत से हैदराबाद के राजीव गांधी अंतर्राष्ट्रीय एयरपोर्ट पर ले आई। इसके बाद एयरपोर्ट पर सीबीआई और एसटीबी-चेन्नई की एक टीम ने उसे हिरासत में लिया।
सीबीआई के अनुसार, मुनव्वर खान पर आपराधिक षड्यंत्र, धोखाधड़ी और जालसाजी के आरोप हैं। उसने अन्य लोगों के साथ मिलकर बैंक ऑफ बड़ौदा के साथ धोखाधड़ी की थी। बैंक से धोखाधड़ी करने के तुरंत बाद आरोपी मुनव्वर खान कुवैत भाग गया, जिसके कारण उसे भगोड़ा घोषित किया गया था। सीबीआई और एसटीबी-चेन्नई ने इस मामले में मुनव्वर खान के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज किया था।
यह ध्यान देने योग्य है कि इंटरपोल द्वारा जारी रेड नोटिस दुनिया भर की कानून प्रवर्तन एजेंसियों को वांछित अपराधियों का पता लगाने के लिए जारी किया जाता है। भारत में इंटरपोल के लिए नेशनल सेंट्रल ब्यूरो के रूप में सीबीआई कार्यरत है। सीबीआई, भारत में सभी कानून प्रवर्तन एजेंसियों के साथ भारतपोल के माध्यम से समन्वय करती है। पिछले कुछ वर्षों में इंटरपोल चैनलों के माध्यम से 130 से अधिक वांछित अपराधियों को भारत वापस लाया गया है।