क्या आप जानते हैं 27 जुलाई को सीआरपीएफ का 87वां स्थापना दिवस क्यों मनाया जाता है?

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क्या आप जानते हैं 27 जुलाई को सीआरपीएफ का 87वां स्थापना दिवस क्यों मनाया जाता है?

सारांश

27 जुलाई का दिन केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) का 87वां स्थापना दिवस है। यह दिन बल की समर्पण और बलिदान की गाथा को याद करने का है। आइए जानते हैं इस बल की गौरव गाथा और उनके अदम्य साहस की कहानियाँ।

Key Takeaways

  • सीआरपीएफ की स्थापना 27 जुलाई 1939 को हुई थी।
  • इसका आदर्श वाक्य "सेवा और निष्ठा" है।
  • सीआरपीएफ ने कई महत्वपूर्ण संघर्षों में अपनी वीरता दिखाई है।
  • हर वर्ष 21 अक्टूबर को 'पुलिस स्मृति दिवस' मनाया जाता है।
  • सीआरपीएफ का बलिदान राष्ट्रीय सुरक्षा का प्रतीक है।

नई दिल्ली, 26 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। 27 जुलाई का दिन केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के प्रति समर्पण और योगदान को याद करने का अवसर है। स्वतंत्रता से पहले, 27 जुलाई को 'क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस' के रूप में इस बल की स्थापना की गई थी, जिसे स्वतंत्रता के बाद सीआरपीएफ के नाम से जाना गया। हम इसके समृद्ध इतिहास का सम्मान करते हैं और भारत की सुरक्षा और स्थिरता के प्रति इसकी अडिग प्रतिबद्धता की सराहना करते हैं। इस वर्ष, सीआरपीएफ का 87वां स्थापना दिवस मनाया जाएगा।

सीआरपीएफ का आदर्श वाक्य "सेवा और निष्ठा" है, जो इसकी कर्तव्य के प्रति अडिग प्रतिबद्धता को दर्शाता है। 27 जुलाई 1939 को सीआरपीएफ 'क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस' के रूप में अस्तित्व में आया। इसका गठन रियासतों में बढ़ती राजनीतिक उथल-पुथल और अशांति से निपटने के लिए किया गया था। यह बल 1936 में अखिल भारतीय कांग्रेस समिति के मद्रास प्रस्ताव से प्रेरित था, जिसमें एक मजबूत आंतरिक सुरक्षा तंत्र की आवश्यकता पर जोर दिया गया था।

स्वतंत्रता के बाद 'क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस' में महत्वपूर्ण परिवर्तन हुए। 28 दिसंबर 1949 को संसद ने एक अधिनियम पारित किया, जिसके बाद इसे सीआरपीएफ के रूप में नई पहचान मिली। उस समय गृह मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल ने सीआरपीएफ के लिए एक बहुआयामी भूमिका की कल्पना की।

सीआरपीएफ ने दशकों से अटूट समर्पण के साथ भारत की आंतरिक सुरक्षा को कायम रखा है। यह बल कई बार अपनी क्षमता साबित कर चुका है, जैसे कि 2001 का संसद हमला और 2005 का अयोध्या हमला, जिसमें सीआरपीएफ ने बहादुरी से आतंकवादियों के इरादों को विफल किया।

1959 में हॉट स्प्रिंग्स संघर्ष भारत और चीन के बीच हुआ था, जब सीआरपीएफ ने चीन के कब्जे से चौकी को मुक्त कराया। इस संघर्ष में 10 जवान शहीद हुए थे। इस दिन को हर साल 21 अक्टूबर को 'पुलिस स्मृति दिवस' के रूप में मनाया जाता है।

1965 में पाकिस्तान ने कच्छ के रण में आक्रामक रुख अपनाया। सीआरपीएफ ने अपने अदम्य साहस से दुश्मनों का सामना किया और कई बार अपने बलिदान से मातृभूमि की रक्षा की।

इसी प्रकार, सीआरपीएफ ने 2001 में संसद पर हमले और 2005 में अयोध्या हमले को विफल करते हुए अपने साहस का परिचय दिया।

Point of View

मैं कह सकता हूँ कि सीआरपीएफ का बलिदान और कर्तव्य की भावना न केवल हमारी सुरक्षा का प्रतीक है, बल्कि यह हमें एकजुटता और राष्ट्रीयता की भावना भी देती है।
NationPress
04/08/2025

Frequently Asked Questions

सीआरपीएफ का स्थापना दिवस कब मनाया जाता है?
सीआरपीएफ का स्थापना दिवस हर साल 27 जुलाई को मनाया जाता है।
सीआरपीएफ का आदर्श वाक्य क्या है?
सीआरपीएफ का आदर्श वाक्य "सेवा और निष्ठा" है।
सीआरपीएफ की स्थापना कब हुई थी?
सीआरपीएफ की स्थापना 27 जुलाई 1939 को हुई थी।