क्या ईडी ने पंजाब में प्रदूषण फैलाने वाली फैक्ट्री के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की?
सारांश
Key Takeaways
- ईडी ने मालब्रोस इंटरनेशनल के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की है।
- रिवर्स बोरिंग के माध्यम से अपशिष्ट जल डालने के आरोप हैं।
- भूजल प्रदूषण और पर्यावरणीय क्षति के मामलों में सख्त कार्रवाई की जा रही है।
- कुल 78.15 लाख रुपए नकद जब्त किए गए हैं।
- इस मामले का स्वास्थ्य पर गंभीर असर पड़ा है।
जालंधर, 16 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के जालंधर क्षेत्रीय कार्यालय ने पर्यावरण अपराध से जुड़े धन शोधन की जांच के संदर्भ में मालब्रोस इंटरनेशनल, गौतम मल्होत्रा और अन्य के खिलाफ जालंधर में पीएमएलए विशेष न्यायालय में अभियोग पेश किया है।
एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि सोमवार को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए), 2002 के तहत आरोप दाखिल किए गए।
पंजाब प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा मालब्रोस इंटरनेशनल और अन्य के खिलाफ दायर आपराधिक शिकायत के आधार पर ईडी ने गहरे जलभंडारों में रिवर्स बोरिंग के माध्यम से अपशिष्ट जल डालने के आरोप में जांच आरंभ की।
जांच के दौरान यह पाया गया कि फिरोजपुर जिले के जीरा तहसील के मंसूरवाल गांव में स्थित मालब्रोस इंटरनेशनल की औद्योगिक इकाई जानबूझकर और स्वेच्छा से भूजल को प्रदूषित कर रही थी।
ईडी ने बताया कि यह इकाई अपशिष्ट जल को आस-पास की भूमि, नालियों और निकटवर्ती चीनी मिल में छोड़ रही थी।
मालब्रोस इंटरनेशनल ने आपराधिक गतिविधियों के माध्यम से अपने कारखाने का संचालन किया, जिससे भूजल, आस-पास के जल निकायों और क्षेत्रों में लगातार पर्यावरणीय प्रदूषण फैलाया गया, और इस प्रक्रिया में 80 करोड़ रुपए की आय भी अर्जित की गई।
इससे पूर्व, 16 जुलाई, 2024 को पीएमएलए, 2002 के प्रावधानों के तहत छह स्थानों पर तलाशी ली गई थी।
ईडी ने 78.15 लाख रुपए नकद जब्त किए और 79.93 करोड़ रुपए की अचल संपत्ति, जिसमें मालब्रोस इंटरनेशनल की भूमि, भवन और संयंत्र एवं मशीनरी शामिल थी, को 13 दिसंबर, 2025 के अनंतिम कुर्की आदेश के तहत कुर्क किया गया।
एक बयान में कहा गया है कि मालब्रोस इकाई के दैनिक कामकाज में लगातार अवैध रूप से अनुपचारित अपशिष्टों को भूमि और भूजल में बहाना शामिल था, जिससे जल प्रदूषण और स्वास्थ्य संबंधी खतरों के रूप में अपूरणीय पारिस्थितिक क्षति हुई, जिससे फसलों का नुकसान हुआ, पशुओं की मौत हुई, और इसके परिसर के आसपास के गांवों के निवासियों के स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव पड़ा।