क्या इंदौर में अंतरराज्यीय चोर गिरोह का सदस्य गिरफ्तार हुआ? 36 लाख रुपए के जेवरात और नकदी मिली

सारांश
Key Takeaways
- इंदौर में अंतरराज्यीय चोर गिरोह का पर्दाफाश हुआ।
- पुलिस ने 36 लाख रुपए के जेवरात और नकदी बरामद की।
- गिरफ्तार आरोपी ने अन्य चोरियों में भी भागीदारी स्वीकार की।
- पुलिस ने अन्य सदस्यों की गिरफ्तारी के लिए इनाम घोषित किया।
- गिरोह कई राज्यों में सक्रिय था।
इंदौर, 6 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। मध्य प्रदेश के इंदौर जिले में कनाडिया पुलिस ने शहर में चोरी की कई वारदातों को अंजाम देने वाले एक अंतरराज्यीय गिरोह के सदस्य को राजस्थान से गिरफ्तार किया है। पुलिस को आरोपी के पास से 36 लाख रुपए के जेवरात और नकदी बरामद हुई है।
गिरफ्तार आरोपी का नाम रमेश है, जिसकी पूछताछ में गिरोह के अन्य राज्यों में फैले नेटवर्क के चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। इसके बाद पुलिस ने टीम बनाकर नेटवर्क में शामिल अन्य लोगों की गिरफ्तारी शुरू कर दी है।
इंदौर के एडिशनल डीसीपी अमरेंद्र सिंह ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि कनाडिया थाना क्षेत्र के मानवता नगर, आलोक नगर और आसपास की कॉलोनियों में लगातार चोरी की शिकायतें मिल रही थीं। चोरी की तहरीर मिलने के बाद पुलिस ने सघन जांच शुरू की। करीब 30 से 45 दिन तक सबूत जुटाने के बाद राजस्थान के कोटपुतली जिले के निवासी रमेश को गिरफ्तार किया गया।
पुलिस पूछताछ में रमेश से पता चला कि उसका साथी परमिंदर (हरियाणा निवासी) फरार है, जिसकी तलाश में पुलिस जुटी है। परमिंदर की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ने 10 हजार रुपए का इनाम घोषित किया है। इसके साथ ही रमेश ने चार घटनाओं में शामिल होने की बात स्वीकार की है।
पुलिस के अनुसार, यह गिरोह मध्य प्रदेश, राजस्थान, तेलंगाना, महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों में चोरी की वारदातों को अंजाम दे चुका है। गिरोह सुबह शहर में घूमकर रेकी करता था और शाम को ग्रुप बनाकर चोरी की घटना को अंजाम देता था। इसके बाद चोरी किए गए जेवरात और नकदी को आपस में बांट लिया जाता था।
गिरोह के अन्य सदस्यों की धरपकड़ के लिए कनाडिया पुलिस की टीमें तीन से चार राज्यों में जाएंगी। पुलिस को उम्मीद है कि अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद अन्य चोरियों के मामले भी सुलझ सकते हैं।