क्या झारखंड के गढ़वा में गोदाम से गायब हुआ नौ हजार क्विंटल अनाज?

सारांश
Key Takeaways
- झारखंड में एक बार फिर अनाज घोटाला सामने आया है।
- एसएफसी गोदाम से 9000 क्विंटल अनाज गायब है।
- डीसी ने तुरंत कार्रवाई करते हुए दो अधिकारियों को निलंबित किया।
- स्थानीय लोग चिंता व्यक्त कर रहे हैं।
- भाजपा ने इसे लगातार होने वाले घोटालों से जोड़ा है।
गढ़वा, 10 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। झारखंड के गढ़वा जिले के केतार प्रखंड में एक बार फिर अनाज घोटाला प्रकाश में आया है। जिले के एसएफसी गोदाम से लगभग तीन करोड़ रुपये मूल्य का नौ हजार क्विंटल अनाज गायब हो गया है। यह जिले में एक वर्ष में दूसरी बार एक बड़ा घोटाला है। डीसी ने तुरंत दो अधिकारियों को निलंबित कर दिया और प्राथमिकी दर्ज करने का निर्देश भी दिया।
केतार प्रखंड के 250 मीट्रिक टन क्षमता वाले एसएफसी गोदाम में यह अनाज पीडीएस लाभार्थियों और आदिवासियों तक वितरण के लिए रखा गया था, लेकिन यह गरीबों तक पहुंचने से पहले ही गायब हो गया। जैसे ही इस मामले की जानकारी क्षेत्र में फैली, लोगों में हड़कंप मच गया।
गोदाम मैनेजर के अनुसार, जब जिला आपूर्ति पदाधिकारी ने स्टॉक को दूसरे गोदाम में स्थानांतरित करने का निर्देश दिया, तब गोदाम में उपस्थित नौ हजार क्विंटल अनाज नहीं पाया गया।
स्टॉक की जांच के दौरान 27 ट्रक चावल और गेहूं कम पाए गए। इसके बाद जिला आपूर्ति पदाधिकारी ने तुरंत डीसी को मामले की जानकारी दी। डीसी ने त्वरित कार्रवाई करते हुए गोदाम मैनेजर को निलंबित किया और कंप्यूटर ऑपरेटर को सेवा से बर्खास्त कर दिया। साथ ही, तीन मिलरों पर कारण बताओ नोटिस जारी किया गया। डीसी ने कहा कि यह एक गंभीर मामला है और इसमें कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
स्थानीय लोगों का कहना है कि केतार प्रखंड जैसे पिछड़े इलाके में लगातार अनाज घोटाला होना चिंताजनक है। लोग सवाल कर रहे हैं कि आखिर गरीबों और आदिवासियों तक पहुंचने वाला अनाज कहां चला गया। कुछ लोगों ने बताया कि कई बार अनाज काला बाजारी के लिए अलग-अलग वाहनों में भेजा जाता रहा है, जिससे यह आम जनता तक नहीं पहुंच पाया।
वहीं, विपक्षी पार्टी भाजपा ने इस मामले को लेकर कहा कि यह जिले की नियति बन गई है कि घोटाले लगातार हो रहे हैं। उनका कहना है कि ऊपर से लेकर नीचे तक कई लोग इसमें शामिल हैं और जनता का अनाज उनके हितों के लिए गलत हाथों में जा रहा है।