क्या बंगाल की हालत बिहार के राजद शासनकाल से भी बुरी है? : प्रेम कुमार

सारांश
Key Takeaways
- पश्चिम बंगाल की कानून व्यवस्था पर सवाल उठ रहे हैं।
- महिलाओं के प्रति अपराध में वृद्धि चिंताजनक है।
- सरकार द्वारा त्वरित कार्रवाई का अभाव है।
- भाजपा नेताओं ने सरकार पर कड़े आरोप लगाए हैं।
- राज्य की स्थिति को सुधारने की आवश्यकता है।
पटना, 28 जून (राष्ट्र प्रेस)। ममता बनर्जी के नेतृत्व में चल रही तृणमूल कांग्रेस की सरकार के तहत पश्चिम बंगाल की स्थिति काफी चिंताजनक हो गई है। हाल ही में, कोलकाता के लॉ कॉलेज में एक छात्रा के साथ दुष्कर्म की घटना के बाद भाजपा ने तृणमूल के खिलाफ कड़ी प्रतिक्रिया दी है। तृणमूल सांसद कल्याण बनर्जी के विवादास्पद बयान ने भी आग में घी का काम किया है।
बिहार सरकार के मंत्री प्रेम कुमार ने समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा, "मुख्य बात यह है कि कार्रवाई होनी चाहिए। घटनाएं होती हैं, लेकिन इसके बाद त्वरित कार्रवाई आवश्यक है। वर्तमान में, पश्चिम बंगाल की स्थिति लालू यादव के बिहार के समय से भी अधिक खराब है। वहां अपराधियों का भय समाप्त हो गया है। वे बेखौफ होकर घूम रहे हैं और सरकार की तरफ से कोई सख्त कदम नहीं उठाए जा रहे हैं। अगर सरकार त्वरित और सख्त कदम उठाए, तो अपराध करने की हिम्मत किसी में नहीं होगी।"
उन्होंने आगे कहा, "यदि देश में कहीं सबसे अधिक अपराध हो रहे हैं, तो वह बंगाल है। वहां लगातार ऐसी घटनाएं घट रही हैं, जबकि सरकार कोई उचित कार्रवाई नहीं कर रही है। बिहार में, यदि कोई आपराधिक घटना घटित होती है, तो उस पर तुरंत सख्त कदम उठाए जाते हैं।"
भाजपा सांसद धर्मशीला गुप्ता ने ममता सरकार पर आरोप लगाया, "यह अजीब है कि जिस राज्य की मुख्यमंत्री महिला हैं, वही राज्य महिलाओं के प्रति इतनी भयानक घटनाएं होने दे रही हैं। यह लोकतंत्र और मातृशक्ति की हत्या है।" उन्होंने तृणमूल के सांसद कल्याण बनर्जी के विवादित बयान की भी निंदा की और कहा कि तृणमूल के नेता गुंडों को पालने में लगे हैं।
उन्होंने यह भी कहा, "मुख्यमंत्री का नाम ममता है, लेकिन उनके अंदर महिलाओं के प्रति कोई ममता नहीं है। उन्हें अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए।"
ध्यान देने योग्य है कि तृणमूल सांसद कल्याण बनर्जी ने लॉ कॉलेज में दुष्कर्म की घटना पर विवादास्पद टिप्पणी की थी, जिसके बाद उन्होंने अपनी बात को स्पष्ट करने की कोशिश की।