क्या पाकिस्तान का जिहाद सिर्फ गरीबों के लिए है? : एसपी वैद

सारांश
Key Takeaways
- पाकिस्तान में विकास निधियों का दुरुपयोग
- जिहाद का असली अर्थ
- सरकार की भूमिका पर सवाल
- भारत-पाक खेल संबंध का महत्व
- सामाजिक नैतिकता की कमी
नई दिल्ली, 14 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। जम्मू-कश्मीर के पूर्व पुलिस महानिदेशक एसपी वैद ने पाकिस्तान में सार्वजनिक विकास निधियों का उपयोग गरीबों की सहायता के बजाय आतंकवादी मुख्यालयों के पुनर्निर्माण में होने की कड़ी आलोचना की है। उन्होंने भारत के पाकिस्तान के साथ खेल संबंधों पर सरकार के रुख का मजबूत समर्थन किया है।
एसपी वैद ने कहा, "मुझे लगता है कि पाकिस्तान के नागरिकों को समझना चाहिए कि सैन्य शासन का उपयोग गरीबों के लिए घर बनाने और सहायता प्रदान करने के लिए होना चाहिए। यह धन आतंकवादी मुख्यालय के पुनर्निर्माण में लगाया जा रहा है। मैंने मीडिया में पढ़ा है कि 7 मई को 'ऑपरेशन सिंदूर' के दौरान भारत की बमबारी से प्रभावित मुख्यालय के पुनर्निर्माण पर 15 करोड़ रुपए खर्च होंगे। इनमें से 4 करोड़ रुपए पाकिस्तान सरकार ने दिए हैं, यह एक बेहद शर्मनाक बात है। यह पैसा सामान्य लोगों की सहायता के लिए होना चाहिए था।"
पूर्व पुलिस महानिदेशक वैद ने पाकिस्तान सरकार पर पाखंड का आरोप लगाते हुए कहा, "पाकिस्तान सरकार गरीबों के लिए घर बनाने के नाम पर धन इकट्ठा कर रही है और इसका उपयोग मुरीदके में मुख्यालय बनाने में कर रही है। पाकिस्तान के नागरिकों को देखना चाहिए कि उनकी सरकार क्या कर रही है और कैसे आतंकवाद के लिए धन खर्च किया जा रहा है।"
एसपी वैद ने पाकिस्तान में सामाजिक और नैतिक विरोधाभासों पर भी कड़ी प्रतिक्रिया दी।
उन्होंने कहा, "मैंने सोशल मीडिया पर देखा कि जिहाद, धर्म और इस्लाम की बात करने वाले असीम मुनीर की पत्नी हुक्का बार में बैठी हैं। यह पाकिस्तानी सेना के जनरलों का पाखंड है। जिहाद केवल गरीबों के बच्चों के लिए है, जबकि उनके अपने बच्चे विदेशों के स्कूलों में पढ़ते हैं और वे पश्चिम में आलीशान घर बनाते हैं। यही है पाकिस्तान का जिहाद, जो केवल गरीबों के लिए है।"
एशिया कप में भारत-पाकिस्तान मैच का जिक्र करते हुए, जम्मू-कश्मीर के पूर्व डीजीपी एसपी वैद ने टूर्नामेंटों में भाग लेने के दौरान द्विपक्षीय मैत्रीपूर्ण मैचों को प्रतिबंधित करने के सरकार के रुख का समर्थन किया।
उन्होंने कहा, "मैं मानता हूं कि केंद्र सरकार ने सही कदम उठाया है। भारत और पाकिस्तान के बीच कोई द्विपक्षीय मैच नहीं होगा। भारतीय खिलाड़ियों से मेरी यही अपील है कि वे उनके साथ दोस्ताना व्यवहार न करें। दर्शकों से भी मेरी यही अपील है कि वे इन मैचों का बहिष्कार न करें। इसमें भाग लेना जरूरी है।"