क्या पुलिस को जगाना जरूरी है? हिरासत से छूटने के बाद बोले केंद्रीय मंत्री सुकांत मजूमदार

सारांश
Key Takeaways
- सुकांत मजूमदार की हिरासत ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं।
- भाजपा कार्यकर्ताओं ने सामूहिक रूप से लालबाजार में रात बिताई।
- विरोध प्रदर्शन लोकतंत्र की रक्षा के लिए महत्वपूर्ण है।
कोलकाता, 29 जून (राष्ट्र प्रेस)। पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में शनिवार को आयोजित एक विरोध-प्रदर्शन के दौरान भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार को रविवार की सुबह रिहा कर दिया गया। रिहाई के बाद सुकांत मजूमदार ने कहा कि उनके साथ 32 भाजपा कार्यकर्ताओं ने पूरी रात लालबाजार में बिताई।
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और केंद्रीय राज्य मंत्री सुकांत मजूमदार ने कहा, "जब हमें विरोध प्रदर्शन के लिए गिरफ्तार किया गया, तो पुलिस ने हमें रिहाई के लिए जमानत के कागजात पर हस्ताक्षर करने के लिए कहा। हमने इसका विरोध किया और बिना हस्ताक्षर किए पूरी रात लालबाजार में बिताई। मेरे साथ भाजपा के 32 कार्यकर्ता भी पूरी रात लालबाजार में रहे। मेरा मानना है कि जब पुलिस सोती है तो किसी न किसी कार्यकर्ता को जागना पड़ता है और हमने पुलिस को जगाने का काम किया है।"
सुकांत मजूमदार ने कहा, "क्या मदन मित्रा तय करेंगे कि किसी को कहां जाना चाहिए या नहीं जाना चाहिए? ऐसी मानसिकता वाले लोगों को एक हजार साल पहले पैदा होना चाहिए था। वे गलत समय पर आए हैं। शायद हमें कोई टाइम मशीन ढूंढकर उन्हें वापस भेजना चाहिए। जहां तक कल्याण बनर्जी का सवाल है, उनके बारे में जितना कम कहा जाए, उतना अच्छा है। पार्टी उन्हें नकारती है और वे पार्टी को नकारते हैं। उनके बीच लगातार आंतरिक संघर्ष होता रहता है। वे समय-समय पर ऐसे बयान देते रहते हैं।"
ज्ञात हो कि साउथ कलकत्ता लॉ कॉलेज में एक छात्रा के साथ हुए गैंगरेप की जघन्य घटना के खिलाफ शनिवार को केंद्रीय मंत्री और पश्चिम बंगाल भाजपा अध्यक्ष सुकांत मजूमदार के नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कार्यकर्ताओं ने जोरदार विरोध-प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने सुकांत मजूमदार को हिरासत में ले लिया।
हिरासत में लिए जाने पर सुकांत मजूमदार ने कहा, "यह पश्चिम बंगाल में लोकतंत्र का चेहरा है। ममता बनर्जी ने राज्य में लोकतंत्र को बर्बाद कर दिया। पुलिस ने मुझे और अन्य भाजपा कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया है, केवल इसलिए कि हम एक जघन्य अपराध के खिलाफ आवाज उठा रहे थे।"