क्या सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी असंवैधानिक है? : अजय राय

सारांश
Key Takeaways
- सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी असंवैधानिक मानी जा रही है।
- राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का मथुरा दौरा विवादित हो गया।
- महंगाई और बेरोजगारी से ध्यान भटकाने का आरोप।
- धर्म के प्रति समर्पण को अपराध नहीं माना जाना चाहिए।
- केंद्र सरकार पर संवैधानिक पदों की गरिमा की अनदेखी का आरोप।
वाराणसी, 26 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। उत्तर प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष अजय राय ने लद्दाख के सामाजिक कार्यकर्ता सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी को असंवैधानिक बताया और केंद्र सरकार की तीखी आलोचना की।
उन्होंने राष्ट्र प्रेस से बातचीत करते हुए कहा कि लेह में हुई हिंसा युवाओं के स्वाभाविक आक्रोश का परिणाम है। सोनम वांगचुक की गिरफ्तारी पूरी तरह से असंवैधानिक है। वे हमारे देश के नागरिक हैं जो समाज के लिए संघर्ष कर रहे हैं।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के मथुरा दौरे को लेकर उन्होंने कहा कि 25 सितंबर को मथुरा में राष्ट्रपति का दौरा था, लेकिन उन्हें रिसीव करने के लिए न मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ आए और न ही राज्यपाल। यह पहली बार है जब राष्ट्रपति को रिसीव करने के लिए प्रदेश के मुखिया नहीं पहुंचे। दलित वर्ग से आने वाली राष्ट्रपति का यह अपमान है।
उन्होंने पीएम मोदी से अनुरोध किया कि इस मामले पर ध्यान दें और उचित कार्रवाई करें।
अजय राय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि मथुरा की पवित्र धरती पर राष्ट्रपति आईं, लेकिन न तो मुख्यमंत्री पहुंचे और न ही राज्यपाल। यह स्पष्ट दिखाता है कि केंद्र सरकार को संवैधानिक पदों और महिला राष्ट्रपति की गरिमा की कोई परवाह नहीं है।
बरेली की घटना पर राय ने कहा कि अपने धर्म से प्रेम करना और अपने धार्मिक विश्वासों के प्रति समर्पण करना कोई अपराध नहीं है। प्रत्येक धर्म के अनुयायी अपने गुरुओं और ईश्वर का सम्मान करते हैं, इसमें क्या बुराई है? सरकार इस मामले में प्रोपेगेंडा कर रही है और इसे हिंदू-मुस्लिम का रंग देना चाहती है।
राय ने आरोप लगाया कि सरकार महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दों से ध्यान भटकाने के लिए यह सब कर रही है। उन्होंने कहा कि यदि कोई अपने धर्म के अनुसार अपने ईष्ट का नाम ले रहा है तो इसमें क्या समस्या है?