क्या जेन-जी विवाद में राहुल गांधी को रणजीत सावरकर ने चेतावनी दी?

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क्या जेन-जी विवाद में राहुल गांधी को रणजीत सावरकर ने चेतावनी दी?

सारांश

रणजीत सावरकर ने जेन-जी विवाद पर राहुल गांधी की आलोचना की है, नेपाल के उदाहरण का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि ऐसी मानसिकता भारत में न लाएं। उनका मानना है कि यह लोकतंत्र के लिए खतरा है। जानें पूरी कहानी।

Key Takeaways

  • राहुल गांधी पर रणजीत सावरकर का तीखा हमला।
  • नेपाल का उदाहरण और जेन-जी मानसिकता।
  • बॉक्सिंग चुनाव में गड़बड़ी का आरोप।
  • नई खेल नीति पर चिंता।
  • लोकतंत्र की रक्षा का महत्व।

मुंबई, 10 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। वीर सावरकर के पोते रणजीत सावरकर ने जेन-जी विवाद पर राहुल गांधी पर तीखा हमला बोला है। उन्‍होंने कहा कि नेपाल बर्बाद हुआ है, भारत में वही मानसिकता न लाएं।

रणजीत सावरकर ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत करते हुए कहा कि सत्ता परिवर्तन की मांग करना हर किसी का अधिकार है और इसके बाद हम अच्‍छा राज्‍य देंगे, यह भी हर पक्ष का अधिकार है, लेकिन चुनी हुई सरकार को गिराने की कोशिश सही नहीं है। राहुल गांधी बार-बार ‘जेन-जी’ का इस्तेमाल कर रहे हैं, लेकिन यह शब्द इसलिए खतरनाक है क्योंकि यही ‘जेन-जी’ नेपाल को बर्बादी की तरफ ले गया।

सावरकर ने नेपाल का उदाहरण देते हुए कहा, नेपाल में ‘जेन-जी’ ने उद्योग-व्यवसाय भी खत्म किए और सरकारी शासन भी कमजोर कर दिया। वही सोच भारत में लागू करने की कोशिश की जा रही है। इसका मतलब है कि आप भारत में लोकशाही खत्‍म करना चाहते हैं, यह बहुत ही निंदनीय बात है।

उन्होंने दावा किया कि कुछ तत्व युवाओं को भड़काना चाहते हैं और देश को अराजकता की ओर धकेलना चाहते हैं। सावरकर ने राहुल गांधी के अभियान पर भी तंज कसते हुए कहा कि राहुल गांधी तो बस सफारी कर रहे हैं।

रणजीत सावरकर ने महाराष्ट्र बॉक्सिंग एसोसिएशन के अध्यक्ष पद के चुनाव में तीखे बयान दिए। उन्होंने कहा कि यह चुनाव झूठ बोलकर और राजनीतिक दबाव में कराया गया है और हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ है।

उन्‍होंने कहा कि बॉक्सिंग एसोसिएशन अध्यक्ष का चुनाव पूर्ण रूप से हाईकोर्ट के 15 अक्‍टूबर के आदेश के खिलाफ है। यह बॉक्सिंग फेडरेशन एसोसिएशन (बीएफआई) के कॉन्स्टिट्यूशन और नेशनल स्पोर्ट्स अथॉरिटी दोनों के खिलाफ है।

हाईकोर्ट ने साफ कहा था कि चुनाव मोडिफाइड कॉन्स्टिट्यूशन के तहत ही कराए जाएं। 12 अक्टूबर को संशोधित संविधान फाइनल हुआ था और कोर्ट के पेज नंबर-5 वाले निर्णय के मुताबिक चुनाव होने चाहिए थे, लेकिन फेडरेशन ने पूरी प्रक्रिया को दरकिनार कर दिया।

उन्‍होंने कहा कि यह चुनाव झूठ बोलकर और राजनीतिक दबाव में कराया गया है।

रणजीत सावरकर ने प्रधानमंत्री द्वारा लाई गई नई खेल नीति का भी जिक्र किया और कहा कि उसी नीति के आधार पर खिलाड़ियों को ओलंपिक में भाग लेने का मौका मिलता है, लेकिन इस पूरी नीति को ही 'कागज पर कुचल' दिया गया है।

सावरकर ने मांग की है कि हाईकोर्ट के आदेश को नहीं मानने वालों और चुनाव प्रक्रिया में गड़बड़ी करने वालों की जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि आज खुलेआम राजनीति हो रही है, और हम इस अन्याय के खिलाफ कोर्ट जाएंगे।

उन्होंने साफ कहा कि वे किसी राजनीतिक दल की तरफदारी नहीं कर रहे। गलत का विरोध होना चाहिए, लेकिन दुख की बात है कि कोई आगे नहीं आ रहा।

Point of View

मेरा मानना है कि इस विवाद के माध्यम से युवा पीढ़ी में जागरूकता बढ़ाना आवश्यक है। हमें सही और गलत का विरोध करना चाहिए, ताकि लोकतंत्र सुरक्षित रहे।
NationPress
10/11/2025

Frequently Asked Questions

जेन-जी विवाद क्या है?
जेन-जी विवाद एक सामाजिक और राजनीतिक मुद्दा है जिसमें युवा पीढ़ी की मानसिकता और उनके विचारों पर चर्चा की जा रही है।
रणजीत सावरकर ने राहुल गांधी पर क्या आरोप लगाए?
रणजीत सावरकर ने राहुल गांधी पर आरोप लगाया है कि वे नेपाल की मानसिकता को भारत में लाने की कोशिश कर रहे हैं।
नेपाल के उदाहरण का महत्व क्या है?
नेपाल का उदाहरण देते हुए, सावरकर ने बताया कि जेन-जी मानसिकता ने वहां के उद्योगों और शासन को कमजोर किया है।
बॉक्सिंग एसोसिएशन के चुनाव में क्या हुआ?
रणजीत सावरकर ने चुनाव को झूठ और राजनीतिक दबाव में कराया गया बताया है।
नई खेल नीति पर सावरकर का क्या कहना है?
सावरकर ने नई खेल नीति को कागज पर कुचलने की बात कही है, जो खिलाड़ियों के लिए अवसरों को सीमित करती है।