क्या सूरत में कूड़े में सिर मिलने की गुत्थी सुलझ गई? पुलिस ने हत्या की वजह बताई

सारांश
Key Takeaways
- सूरत में एक मजदूर की हत्या का मामला
- आरोपी ने गालियों से नाराज होकर हत्या की
- पुलिस ने आरोपी को सीसीटीवी फुटेज के आधार पर पकड़ा
सूरत, 16 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। सूरत के लसकाणा थाना क्षेत्र में कुछ दिन पहले एक मजदूर की हत्या का मामला अब सुलझ गया है। पुलिस ने हत्या के आरोपी उसके दोस्त मुन्ना को गिरफ्तार किया है। पूछताछ में यह सामने आया कि उसने माता-पिता और बहनों को गालियां देने के कारण इस वारदात को अंजाम दिया।
हत्या के बाद, आरोपी ने मजदूर का कटे हुए सिर कूड़े में फेंक दिया था। जब पुलिस ने मामले की छानबीन शुरू की, तो आरोपी धड़ को कमरे में छोड़कर फरार हो गया था।
आरोपी को पकड़ने के लिए सूरत क्राइम ब्रांच की आठ से ज्यादा टीमों के 50 पुलिसकर्मियों को लगाया गया। 11 सितंबर को, सूरत के लसकाणा इलाके में विजयनगर झील के पास कूड़े के ढेर में एक सिर मिला था। पुलिस ने जांच की और 500 मीटर दूर एक कमरे से धड़ बरामद किया।
जांच के बाद मृतक की पहचान दिनेश के रूप में हुई। उसके तीन बच्चे और पत्नी बिहार में रहते थे। दिनेश और आरोपी मुन्ना उर्फ इशाक दोनों बिहार के गोपालगंज के निवासी थे और सूरत में एक ही कारखाने में काम करते थे। हत्या के बाद, मुन्ना वहीं रहा और एक दिन पहले ही पिपोदरा में एक दूसरे कारखाने में नौकरी शुरू की थी।
आरोपी के पकड़े जाने के बाद उसके कुछ सीसीटीवी फुटेज भी सामने आए हैं, जिनमें वह एक बैग लेकर जाता हुआ दिखाई दे रहा है। पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि बैग में दिनेश का सिर था या कुछ और।
पुलिस ने पता लगाया कि मुन्ना का असली नाम इशाक मंसूरी है। पकड़े जाने पर उसने बताया कि दिनेश के साथ छोटी सी कहासुनी हुई थी, जिसके बाद दिनेश ने मुन्ना को मां और बहन की गालियां दीं।
इससे क्रोधित मुन्ना ने पहले दिनेश पर पत्थर से हमला किया और फिर कमरे में रखी छुरी से दिनेश का सिर धड़ से अलग कर दिया। मुन्ना को लगा कि अगर उसने सिर को कूड़े में फेंक दिया, तो शव की पहचान नहीं हो पाएगी।
डीसीपी भावेश रोजिया ने कहा कि हत्या के बाद मुन्ना सूरत ग्रामीण के बाहरी इलाके पिपोदरा चला गया था। अपनी पहचान छिपाने के लिए उसने मोबाइल का इस्तेमाल बंद कर दिया।