क्या यमुना में जलस्तर बढ़ने वाला है? डूब क्षेत्र में रहने वाले लोग और पशु सुरक्षित स्थानों पर पहुँचें: जिलाधिकारी

सारांश
Key Takeaways
- यमुना का जलस्तर बढ़ने की संभावना है।
- डूब क्षेत्र में रहने वालों को सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह।
- स्थानीय प्रशासन ने बाढ़ प्रबंधन तैयारियों को तेज किया है।
- बाढ़ की स्थिति में जनहानि से बचने के लिए कदम उठाएं।
- सभी को सतर्क रहने की आवश्यकता है।
गौतमबुद्धनगर, 1 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। यमुना नदी का जलस्तर एक बार फिर तेजी से बढ़ने की संभावना जताई गई है। सिंचाई विभाग ने स्थानीय निवासियों से सतर्क रहने और डूब क्षेत्र से शीघ्र सुरक्षित स्थानों पर जाने की अपील की है। विभाग के अनुसार, ताजेवाला बैराज (हथिनीकुंड) से आज सुबह लगभग 9 बजे काफी मात्रा में पानी छोड़ा गया है, जो अगले 24 से 30 घंटों में दिल्ली और इसके आस-पास के क्षेत्रों में पहुँच जाएगा।
सिंचाई निर्माण खंड, गाजियाबाद के अधिशासी अभियंता ने जानकारी देते हुए बताया कि बैराज से लगभग 3,29,313 क्यूसेक पानी यमुना नदी में छोड़ा गया है। अनुमान है कि यह पानी 2 सितंबर की शाम तक दिल्ली, गाजियाबाद और गौतमबुद्धनगर जिले तक पहुँचकर नदी के जलस्तर को सामान्य से अधिक बढ़ा देगा।
इस स्थिति में नदी के डूब क्षेत्र वाले इलाकों के प्रभावित होने की प्रबल संभावना है। अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि जो परिवार यमुना किनारे या डूब क्षेत्र में रह रहे हैं, वे तुरंत सतर्क हो जाएं और अपने परिवार के साथ सुरक्षित स्थानों पर चले जाएं। साथ ही, उन्होंने यह भी अपील की है कि लोग अपने पालतू और दुधारू पशुओं को भी सुरक्षित स्थानों पर ले जाएं, ताकि बाढ़ की स्थिति में किसी प्रकार की जनहानि या पशु हानि न हो।
स्थानीय प्रशासन ने भी बाढ़ प्रबंधन की तैयारियों को तेज कर दिया है। जिला प्रशासन की टीमें लगातार डूब क्षेत्र के गांवों का दौरा कर रही हैं और ग्रामीणों को स्थिति से अवगत करा रही हैं। राहत और बचाव दल को भी अलर्ट मोड पर रखा गया है। प्रशासन का कहना है कि अगर जलस्तर में तेज वृद्धि होती है तो प्रभावित इलाकों से लोगों का सुरक्षित स्थानों पर तत्काल पुनर्वास किया जाएगा।
हर साल बरसात के मौसम में यमुना में जलस्तर बढ़ने से दिल्ली और एनसीआर के कई हिस्सों में बाढ़ जैसी स्थिति उत्पन्न हो जाती है। इस बार भी हथिनी कुंड बैराज से छोड़े गए पानी की मात्रा को देखते हुए विशेषज्ञों का अनुमान है कि नदी का बहाव खतरनाक स्तर तक जा सकता है। ऐसे में प्रशासन ने लोगों से सहयोग और सावधानी बरतने की अपील की है।