क्या केनिंग्टन ओवल पर एक ही पारी में बने 903 रन?

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क्या केनिंग्टन ओवल पर एक ही पारी में बने 903 रन?

सारांश

इस ऐतिहासिक मैच की कहानी में जानिए कैसे इंग्लैंड ने अपने शानदार प्रदर्शन से ऑस्ट्रेलिया को हराया। क्या आप जानते हैं कि एक ही पारी में 903 रन बनाना कैसे संभव हुआ? यह जानने के लिए पढ़ें।

Key Takeaways

  • इंग्लैंड ने 903/7 पर अपनी पहली पारी घोषित की।
  • लियोनार्ड हटन ने 364 रन बनाए।
  • ऑस्ट्रेलिया की पहली पारी 201 रन पर समाप्त हुई।

नई दिल्ली, 31 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। भारत-इंग्लैंड के बीच गुरुवार से टेस्ट सीरीज का पांचवां मुकाबला कैनिंग्टन ओवल में होने जा रहा है, जहां एक ही टेस्ट पारी में 900 से अधिक रन बने हैं। आइए, इस ऐतिहासिक मुकाबले की गहराई में जाते हैं।

यह मुकाबला 20-24 अगस्त 1938 को इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेला गया था। इस श्रृंखला के इस अंतिम मुकाबले में इंग्लैंड ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का निर्णय लिया।

मेजबान टीम ने 29 के स्कोर पर बिल एडरिच (12) का विकेट खोया, लेकिन इसके बाद लियोनार्ड हटन ने मौरिस लेलैंड के साथ मिलकर दूसरे विकेट के लिए 382 रन जोड़े, जिससे टीम मजबूत स्थिति में आ गई। मौरिस लेलैंड 187 के स्कोर पर रन आउट हुए, जिन्होंने 438 गेंदों में 17 चौके लगाए।

411 के स्कोर पर दूसरा विकेट गिरने के बाद लियोनार्ड हटन ने कप्तान वैली हैमंड के साथ तीसरे विकेट के लिए 135 रन जोड़े, जिससे टीम 500 के पार पहुंच गई। हैमंड 59 रन बनाकर आउट हुए।

जब इंग्लैंड का पांचवां विकेट गिरा, तब स्कोर 555 रन था। यहां से लियोनार्ड हटन ने जो हार्डस्टाफ के साथ छठे विकेट के लिए 215 रन जोड़े, जिससे टीम 800 के करीब पहुंच गई।

लियोनार्ड हटन ने 847 गेंदों का सामना करते हुए 35 चौकों के साथ 364 रन बनाए। हटन इस मैदान पर सर्वोच्च पारी का रिकॉर्ड रखते हैं।

सातवें नंबर पर बल्लेबाजी करने आए जो हार्डस्टाफ ने नाबाद 169 रन बनाए, जबकि आर्थर वुड ने 53 रन का योगदान दिया।

इन बल्लेबाजों के प्रयासों के चलते इंग्लैंड ने 903/7 के स्कोर पर अपनी पहली पारी घोषित की, जिसमें मेजबान टीम ने 335.2 ओवर खेले। मेहमान टीम की ओर से बिल ओ'रेली ने तीन विकेट लिए।

इसके जवाब में ऑस्ट्रेलिया की पहली पारी केवल 201 रन पर समाप्त हुई। सलामी बल्लेबाज बिल ब्राउन ने 69 रन बनाए। लिंडसे हैसेट ने 42 और सिड बार्न्स ने 41 रन का योगदान दिया। इंग्लैंड की ओर से बिल बोवेस ने पांच विकेट लिए।

इंग्लैंड को पहली पारी में 702 रन की विशाल बढ़त प्राप्त हुई। उसने ऑस्ट्रेलिया को फॉलोऑन दिया और दूसरी पारी में ऑस्ट्रेलिया केवल 123 रन पर सिमट गया।

इस पारी में इंग्लैंड की ओर से केन फार्नेस ने चार विकेट लिए, जबकि बिल बोवेस और हेडली वेरिटी ने दो-दो विकेट लिए।

इंग्लैंड ने यह मैच पारी और 579 रन से जीतकर टेस्ट इतिहास में सबसे बड़ी जीत का रिकॉर्ड स्थापित किया।

Point of View

बल्कि यह खेल की रणनीति और टीम के सामूहिक प्रयासों का भी प्रतीक है। इंग्लैंड की जीत ने दर्शाया कि कैसे एकजुटता और धैर्य से बड़े लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है।
NationPress
01/08/2025

Frequently Asked Questions

कैनिंग्टन ओवल में सबसे अधिक रन कब बने?
कैनिंग्टन ओवल में सबसे अधिक 903 रन 1938 में इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के बीच बने थे।
लियोनार्ड हटन ने कितने रन बनाए थे?
लियोनार्ड हटन ने 364 रन बनाए थे।