क्या एशियन टेबल टेनिस टीम चैंपियनशिप के लिए भारत की तैयारियों ने शेखा हयात को प्रभावित किया?

सारांश
Key Takeaways
- भारत की टेबल टेनिस व्यवस्था विश्वस्तरीय है।
- शेखा हयात ने भारत की तैयारियों की सराहना की।
- चैंपियनशिप में 4 लाख डॉलर की पुरस्कार राशि है।
- भारत ने टेबल टेनिस में महत्वपूर्ण प्रगति की है।
- महिलाओं और पुरुषों के लिए चैंपियनशिप का विस्तार किया जाएगा।
नई दिल्ली, 10 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। एशियन टेबल टेनिस संघ (एटीटीयू) की कार्यकारी क्षेत्रीय उपाध्यक्ष शेखा हयात अल खलीफा ने 28वीं आईटीटीएफ-एटीटीयू एशियन टेबल टेनिस टीम चैंपियनशिप 2025 के लिए भारत की अद्वितीय तैयारियों की सराहना की। यह टेबल टेनिस टीम चैंपियनशिप शनिवार से भुवनेश्वर के प्रसिद्ध कलिंगा स्टेडियम में आरंभ होगी।
शेखा हयात ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा, "भारत आकर मुझे बहुत खुशी हो रही है। यहां की उत्कृष्ट आयोजन और विश्वस्तरीय व्यवस्थाओं ने मुझे गहराई से प्रभावित किया है। आयोजन समिति की ओर से आवास, परिवहन और पूरी तैयारी वास्तव में उल्लेखनीय है। इससे यह सुनिश्चित होता है कि यह चैंपियनशिप अब तक आयोजित की गई सर्वश्रेष्ठ चैंपियनशिप में से एक होगी।"
भारत में टेबल टेनिस के तेजी से बढ़ते महत्व की सराहना करते हुए शेखा हयात ने कहा, "मैं भारतीय टेबल टेनिस महासंघ और खेल मंत्रालय को उनकी राष्ट्रीय टीम के अभूतपूर्व विकास के लिए बधाई देना चाहती हूं। आज हम भारत को चीन और जापान जैसी टीमों के बराबर प्रतिस्पर्धा करते हुए देख सकते हैं। यह इस खेल में की गई प्रगति और समर्पण को दर्शाता है।"
महाद्वीप के लिए एटीटीयू के व्यापक दृष्टिकोण पर प्रकाश डालते हुए शेखा हयात ने कहा, "हम पूरे एशिया में इस खेल को मजबूत करने के लिए अपने सभी सदस्य संघों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। एशियन कप की पुरस्कार राशि को 1 लाख डॉलर से बढ़ाकर 4 लाख डॉलर कर दिया गया है। हम समावेशिता और उत्कृष्टता को बढ़ावा देने के लिए पुरुषों और महिलाओं के लिए चैंपियनशिप का विस्तार करने पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं।"
शेखा हयात ने मेजबान ओडिशा और मीडिया के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा, "मैं आयोजन समिति और ओडिशा के लोगों को उनकी गर्मजोशी और आतिथ्य के लिए धन्यवाद देती हूं। राज्य ने खेल विकास के लिए उत्कृष्ट प्रतिबद्धता दिखाई है। मैं मीडिया का भी धन्यवाद करती हूं, जिन्होंने हमें दुनिया को यह दिखाने में मदद की है कि एशिया और भारत टेबल टेनिस के विकास में कितना योगदान दे रहे हैं।"