क्या हरभजन सिंह ने भारत-पाक मैच रद्द होने पर सरकार का समर्थन किया?

सारांश
Key Takeaways
- भारत और पाकिस्तान के बीच मैच रद्द हुआ।
- हरभजन सिंह ने समर्थन किया।
- खिलाड़ियों ने एकजुटता दिखाई।
- सुरक्षा चिंताओं के कारण फैसला लिया गया।
- भविष्य में संबंधों पर इसका असर संभव है।
लंदन, 24 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। वर्ल्ड चैंपियनशिप ऑफ लीजेंड्स 2025 (डब्ल्यूसीएल) में भारत चैंपियंस और पाकिस्तान चैंपियंस के बीच बहुप्रतीक्षित मैच रविवार (20 जुलाई) को होने वाला था, लेकिन दोनों देशों के बीच बढ़ते तनाव के कारण इसे रद्द कर दिया गया। हरभजन सिंह ने इस निर्णय का समर्थन किया है और भारत सरकार के प्रति एकता दिखाई है।
इस मैच से पहले भारत के कई प्रमुख खिलाड़ियों ने पाकिस्तानी चैंपियंस के खिलाफ खेलने से मना कर दिया था। इस बहिष्कार में शिखर धवन, हरभजन सिंह, इरफान पठान और यूसुफ पठान शामिल थे।
मैच के कुछ घंटे पहले, डब्ल्यूसीएल ने आधिकारिक रूप से मैच रद्द करने की घोषणा की। इस पर हरभजन सिंह ने राष्ट्र प्रेस को बताया, "हम अपने देश और देशवासियों के साथ खड़े हैं। यह स्पष्ट है। हम अपनी सरकार के साथ हैं। हमारी जिम्मेदारी है कि हम दिखाएं कि हम एकजुट हैं।"
डब्ल्यूसीएल ने कहा कि, "जब हमें पता चला कि पाकिस्तान की हॉकी टीम भारत आ रही है और हाल ही में भारत-पाकिस्तान वॉलीबॉल प्रतियोगिता में दोनों देशों के बीच मुकाबले हो रहे हैं, तो हमने डब्ल्यूसीएल में भारत और पाकिस्तान के मैच का आयोजन करने का सोचा। लेकिन हमारे प्रयास से कई लोगों की भावनाएं आहत हो सकती थीं।"
बयान में आगे कहा गया, "हम अपने महान क्रिकेटरों को असहज नहीं करना चाहते थे, जो देश का गौरव हैं। इसलिए हमने यह निर्णय लिया कि भारत और पाकिस्तान का मैच रद्द किया जाए।"
गौरतलब है कि 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले में 26 नागरिकों की जान गई थी। इस हमले की जिम्मेदारी द रेजिस्टेंस फ्रंट ने ली थी।
भारत ने इस पर 'ऑपरेशन सिंदूर' के जरिए पाकिस्तान को कड़ा जवाब दिया था। भारत-पाकिस्तान के बीच 7 से 10 मई तक सैन्य संघर्ष हुआ था।