क्या 'एमबीई' अवॉर्ड से सम्मानित पहले भारतीय क्रिकेटर हैं वीवीएस लक्ष्मण के गुरु?

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क्या 'एमबीई' अवॉर्ड से सम्मानित पहले भारतीय क्रिकेटर हैं वीवीएस लक्ष्मण के गुरु?

सारांश

भारतीय क्रिकेट के इतिहास में एक महत्वपूर्ण नाम, एम. वी. नरसिम्हा राव ने न केवल क्रिकेट खेला बल्कि कोचिंग में भी अपनी पहचान बनाई। जानिए कैसे उन्होंने अपने शिष्यों के जीवन को प्रभावित किया।

Key Takeaways

  • नरसिम्हा राव पहले भारतीय क्रिकेटर हैं जिन्हें एमबीई मिला।
  • उन्होंने आयरलैंड में क्रिकेट को बढ़ावा दिया।
  • वीवीएस लक्ष्मण उनके शिष्य रहे हैं।
  • नरसिम्हा राव ने फर्स्ट क्लास क्रिकेट में 40.71 की औसत से रन बनाए।
  • वह टीम भावना के लिए जाने जाते हैं।

नई दिल्ली, 10 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। 'बॉबी' के नाम से जाने जाने वाले एम. वी. नरसिम्हा राव ने घरेलू क्रिकेट में अद्भुत रिकॉर्ड के बावजूद अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ज्यादा सफलता नहीं पाई, लेकिन उनके नाम एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।

नरसिम्हा राव पहले भारतीय क्रिकेटर हैं जिन्हें 'मेंबर ऑफ द ऑर्डर ऑफ द ब्रिटिश एंपायर' (एमबीई) से नवाजा गया।

नरसिम्हा राव सिर्फ एक क्रिकेटर नहीं, बल्कि एक कुशल कोच भी रहे हैं। उन्होंने कुछ समय के लिए आयरलैंड में पेशेवर क्रिकेट खेला और वहाँ के खिलाड़ियों को कोचिंग भी दी।

आयरलैंड में क्रिकेट को बढ़ावा देने में उनके योगदान के लिए और उत्तरी आयरलैंड में कठिन समय के दौरान क्रिकेट के माध्यम से समुदाय की सेवा के लिए उन्हें दिसंबर 2012 में एमबीई पदक से सम्मानित किया गया।

11 अगस्त 1954 को सिकंदराबाद में जन्मे 'बॉबी' ने 1978-79 में चार टेस्ट मैच खेले। दाएँ हाथ के बल्लेबाज और लेग-स्पिनर ने 1986-87 में हैदराबाद को रणजी ट्रॉफी जिताने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

अपने हाई आर्म एक्शन से बॉल में टर्न और बाउंस लाने वाले नरसिम्हा राव को 1978-79 में वेस्टइंडीज के खिलाफ टीम में चुना गया था, लेकिन दो टेस्ट मैचों के बाद वह अपनी जगह नहीं बना सके।

अगले सीजन में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज के लिए उन्हें वापस बुलाया गया, लेकिन फिर से दो टेस्ट मैचों के बाद उन्हें टीम से बाहर कर दिया गया। नरसिम्हा राव ने चार टेस्ट मैचों में 9.20 की औसत से महज 46 रन बनाए, लेकिन एक कुशल क्लोज-इन फील्डर के रूप में आठ कैच लपके। उनके नाम टेस्ट क्रिकेट में तीन विकेट भी हैं।

यदि हम नरसिम्हा राव के फर्स्ट क्लास करियर की बात करें, तो उन्होंने 108 मुकाबलों में 146 पारियों में 40.71 की औसत से 4,845 रन बनाए, जिसमें नौ शतक और 30 अर्धशतक शामिल हैं। इस दौरान उन्होंने 245 विकेट भी चटकाए। लिस्ट-ए क्रिकेट के 18 मुकाबलों में उनके नाम 292 रन दर्ज हैं।

नरसिम्हा राव को उन खिलाड़ियों में गिना जाता है, जिन्होंने अपनी उपलब्धियों से ज्यादा टीम भावना पर ध्यान दिया। उन्होंने कई मशहूर खिलाड़ियों को कोचिंग दी, जिनमें वीवीएस लक्ष्मण भी शामिल हैं।

वीवीएस लक्ष्मण ने खुद बताया है कि वह चाहे दुनिया के किसी कोने में खेलें, नरसिम्हा राव हमेशा उनके खेल का अवलोकन करते थे और उन्हें सुधारने के लिए सुझाव देते थे।

Point of View

मुझे यह कहना है कि एम. वी. नरसिम्हा राव का योगदान क्रिकेट के क्षेत्र में अद्वितीय है। उन्होंने न केवल खेल में बल्कि युवा खिलाड़ियों के विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
NationPress
10/08/2025

Frequently Asked Questions

एम. वी. नरसिम्हा राव को कब एमबीई से सम्मानित किया गया?
उन्हें दिसंबर 2012 में एमबीई से सम्मानित किया गया।
नरसिम्हा राव का जन्म कब हुआ?
उनका जन्म 11 अगस्त 1954 को हुआ।
नरसिम्हा राव ने कितने टेस्ट मैच खेले?
उन्होंने कुल चार टेस्ट मैच खेले।
वीवीएस लक्ष्मण ने नरसिम्हा राव के बारे में क्या कहा?
लक्ष्मण ने कहा कि नरसिम्हा राव हमेशा उनके खेल का अवलोकन करते थे।
नरसिम्हा राव ने कितने विकेट लिए?
उनके नाम टेस्ट क्रिकेट में तीन विकेट हैं।